इंडिया न्यूज, श्रीनगर, (Target Killing In Kashmir ): केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद के खात्मे के लिए संयुक्त तौर पर नई व्यूह रचना तैयार करने का निर्णय लिया गया है। सात मई के बाद से लगातार घाटी में हो रही टारगेट किलिंग की वारदातों को देखते हुए केंद्र सरकार ने सख्त रुख अख्तियार किया है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की अध्यक्षता में दिल्ली में हुई बैठक में जम्मू-कश्मीर प्रशासन व सुरक्षा एजेंसियों को कश्मीर में शांति का माहौल बरकरार रखने के लिए हर संभव कदम उठाने के निर्देश दिए गए हैं।
बैठक में बनी रणनीति के तहत प्रदेश में टारगेट किलिंग की घटनाओं को रोककर शांति बहाली के लिए तेजी से काम शुरू हो गया है। बैठक में राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल भी मौजूद थे। उनकी रणनीति पर अमल करते हुए कश्मीर के थानों व चौकी स्तर पर मैनपावर की कमी को दूर करते के लिए त्वरित कार्रवाई दस्ते तैनात किए जा रहे हैं। आतंकवाद के खिलाफ अभियानों में बीएसएफ और एसएसबी की भूमिका में भी इजाफा किया जा रहा है।
30 जून से शुरू हो रही श्री अमरनाथ यात्रा के सुरक्षा कवच को मजबूत बनाने के मकसद से 15 जून तक घाटी में अतिरिक्त सुरक्षाबलों की तैनाती की प्रक्रिया पूरी करने का निर्णय लिया गया है। इसी के साथ 4500 कश्मीरी हिंदू व अन्य अल्पसंख्यक कर्मियों को कश्मीर के विभिन्न भागों से शिफ्ट कर तहसील व जिला मुख्यालयों में लगाया जाएगा।
जम्मू-कश्मीर पुलिस के एक सीनियर अफसर के अनुसार नई दिल्ली में गत शुक्रवार को केंद्रीय गृह मंत्रालय की बैठक हुई है और इसमें आतंकियों के साथ ही उनके समर्थकों यानी मददगारों के खिलाफ सुनियोजित तरीके से अभियान तेज करने का निर्णय लिया गया है। पुलिस अफसर ने बताया कि नई रणनीति के अंतर्गत पूरे जम्मू-कश्मीर में खुफिया नेटवर्क को तत्काल प्रभाव से मजबूत बनाया जा रहा है।
सीनियर अफसर ने बताया कि अत्याधुनिक उपकरणों सहित इमसें इलेक्ट्रानिक सर्विलांस का पूरा इस्तेमाल होगा। पुलिस के साथ ही अन्य सुरक्षा एजेंसियों के खुफिया नेटवर्क में प्रशिक्षित और अनुभवी कर्मी व अधिकारी लगाए जाएंगे। सब तरह की महत्वपूर्ण जानकारियों को परस्पर साझा किया जाएगा व संयुक्त रूप से आतंकरोधी अभियानों की व्यूह रचना बनाई जाएगी।
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने श्री अमरनाथ यात्रा के मद्देनजर पहले कश्मीर में पहले 350 कंपनियां भेजने के प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान की है। मंत्रालय के अनुसार इनमें से 180 कपंनियां घाटी में तैनात की जा चुकी हैं और बाकी भी जल्द तैनात कर दी जाएंगी। इन कपंनियों में से 20 कंपनियों को दक्षिण कश्मीर व राधानी श्रीनगर से सटे इलाकों में आतंकरोधी अभियानों में लगाया जाएगा।
कश्मीर के मंडलायुक्त पांडुरंग के पोले ने ताजा हालात की समीक्षा करने के बाद बताया कि कर्मचारियों से संपर्क करके उनसे संबंधित विभाग पूछें कि वह अपनी नियुक्ति कहां चाहते हैं। इसी के साथ किसी भी कर्मचारी की ट्रांसफर में देरी नहीं की जानी चाहिए। उन्होंने बताया कि लगभग 130 दंपतियों सहित 600 कश्मीरी हिंदुओं को उनकी इच्छा के मुताबिक स्थान पर नियुक्त किया गया है। इसके अलावा देशभर से घाटी में काम करने आए अल्पसंख्यकों की बस्तियों के आसपास सुरक्षाबलों की गश्त बढ़ेगी। जम्मू संभाग के हिंदू कर्मियों और विस्थापित कश्मीरी हिंदुओं को म्युनिसिपल टाउन अथवा जिला के तीन किलोमीटर के दायरे में नियुक्त किया जाएगा।
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