इंडिया न्यूज, नई दिल्ली, (Delhi Liquor Policy Scam) : दिल्ली शराब नीति घोटाले मामले में सत्येंद्र जैन से पूछताछ के लिए ईडी की टीम तिहाड़ जेल पहुंची है। यह टीम दिल्ली के 57 वर्षीय सत्येंद्र जैन से पूछताछ करेगी। गौरतलब है कि सत्येंद्र जैन कथित हवाला सौदे से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में 30 मई को ईडी द्वारा गिरफ्तार किए जाने के बाद से जेल में बंद हैं। अदालत द्वारा आबकारी नीति मामले में ईडी को जैन से 16, 22 और 23 सितंबर को पूछताछ करने के लिए अधिकृत किया गया है।
आम आदमी पार्टी (आप) के नेतृत्व वाली दिल्ली सरकार में बिना विभाग के मंत्री जैन को ईडी द्वारा हिरासत में लिए जाने से पहले उनके पास स्वास्थ्य और ऊर्जा विभाग की जिम्मेदारी थी। ईडी ने नई आबकारी नीति को लागू करने के लिए ‘आप’ सरकार द्वारा दी गई कैबिनेट की मंजूरी के बाद जैन का बयान दर्ज करने के लिए एक दिल्ली की अदालत से अनुमति मांगी थी। जिसे अदालत ने स्वीकार करते हुए ईडी ने इजाजत दे दी।
आबकारी नीति जांच के घेर में तब आई जब दिल्ली के उपराज्यपाल सक्सेना ने इसके क्रियान्वयन में कथित घोटाले की सीबीआई जांच की सिफारिश की थी। हालांकि, सिसोदिया ने भी इस नीति में कथित घोटाले की सीबीआई जांच की मांग की थी। आबकारी नीति में मनी लॉन्ड्रिंग का ईडी का मामला सीबीआई की एक एफआईआर पर आधारित है, जिसमें दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया और कुछ नौकरशाहों को आरोपी बनाया गया है। हालांकि, अब उस आबकारी नीति को वापस ले लिया गया है।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने दिल्ली की आबकारी नीति में कथित घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच के लिए शुक्रवार को पूरे देश में करीब 40 ठिकानों पर छापेमारी शुरू की। यह आबकारी नीति अब वापस ले ली गई है।
आधिकारिक सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार आंध्र प्रदेश में नेल्लोर तथा कुछ अन्य शहरों, कर्नाटक, तमिलनाडु और दिल्ली-राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में शराब कारोबारियों, वितरकों और आपूर्ति शृंखला के नेटवर्क पर छापे मारे जा रहे हैं। ईडी अपने इस कार्रवाई में पुलिस बलों का सहयोग ले रही है।
केंद्रीय एजेंसी इस मामले में दूसरी बार छापेमारी कर रही है। इससे पहले छह सितंबर को पूरे देश के करीब 40 ठिकानों पर छापा मारा गया था। तब पंजाब सरकार के आबकारी विभाग के अधिकारियों के परिसरों में भी छापा मारा गया था। सीएम अरविंद केजरीवाल ने 17 नवंबर 2021 को लागू की गई आबकारी नीति को इस वर्ष जुलाई में वापस ले ली थी, जब दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने इसके क्रियान्वयन की सीबीआई से जांच कराने की मांग की थी।
आबकारी नीति से जुड़ा मनी लॉन्ड्रिंग यह मामला सीबीआई की एक एफआईआर पर आधारित है, जिसमें दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया और कुछ नौकरशाहों को आरोपी बनाया गया है। सीबीआई ने 19 अगस्त को इस मामले में सिसोदिया (50), भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के अधिकारी और दिल्ली के पूर्व आबकारी आयुक्त आरव गोपी कृष्ण के दिल्ली स्थित आवास तथा सात राज्यों और केंद्र-शासित प्रदेशों में 19 अन्य स्थानों पर छापे मारे थे।
दिल्ली सरकार में सिसोदिया के पास आबकारी और शिक्षा समेत कुछ अन्य विभाग हैं। अब ईडी इस बात की जांच कर रही है कि क्या गत वर्ष नंवबर में लाई गई दिल्ली आबकारी नीति के क्रियान्वयन के दौरान घोटाला किया गया।
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