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Dalai Lama
इंडिया न्यूज, नई दिल्ली:
दलाई लामा के साथ चीन वार्ता करने को तैयार हो गया है। चीन के प्रतिनिधि ने कहा कि वह तिब्बती आध्यात्मिक नेता दलाई लामा के साथ उनके भविष्य पर चर्चा करने को तैयार है लेकिन तिब्बत से जुड़े किसी भी मुद्दे पर कोई बात नहीं होगी। टोक्यो से आई एक रिपोर्ट में कहा गया है कि दलाई लामा ने बुधवार को टोक्यो फॉरेन कॉरेस्पोंडेंट्स क्लब की ओर से आयोजित एक आॅनलाइन प्रेस कान्फ्रेंस में भाग लिया और कहा था कि वे भारत में शांतिपूर्वक रहना पसंद करते हैं।
इतना ही नहीं, दलाई लामा ने धार्मिक सद्भाव के केंद्र के रूप में भारत की तारीफ की थी। उन्होंंने कहा था कि कड़े सामाजिक नियंत्रण के प्रति सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी का झुकाव नुकसानदेह हो सकता है।
दलाई लामा ने कहा था कि चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मिलने की उनकी कोई खास योजना नहीं है लेकिन उन्होंने पुराने मित्रों से मिलने के लिए तिब्बत की यात्रा करने की अपनी इच्छा प्रकट की। उन्होंने राष्ट्रपति पद पर तीसरे कार्यकाल के लिए भी रहने की शी की योजना पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया।
दलाई लामा के बयान पर प्रतिक्रिया देने के लिए चीन के प्रवक्ता से पूछा गया कि क्या बीजिंग उन्हें चीन या तिब्बत की यात्रा करने की अनुमति देगा? इस पर चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता वांग वेनबिन ने कहा कि बीजिंग तिब्बती आध्यात्मिक नेता के साथ वार्ता के लिए तैयार है। दलाई लामा के साथ वार्ता के दरवाजे खुले हुए हैं।
वांग वेनबिन ने कहा कि चीन में केंद्रीय सरकार, 14 वें दलाई लामा के साथ मुद्दों पर बातचीत व चर्चा करने पर अपना रुख पूर्ववत और स्पष्ट रखे हुए हैं। दलाई लामा को यह कार्य करना है कि उन्हें अलगाववादी गतिविधियों को रोकना है और केंद्रीय सरकार व चीनी लोगों का विश्वास जीतने के लिए ठोस उपाय करने हैं।
बता दें कि बौद्ध धर्मगुरु दलाई लामा ने कहा था कि वह जीवन के अंतिम दिन धर्मशाला में ही गुजारना चाहते हैं, क्योंकि यहां मुझे पूरी आजादी है। भारत एक ऐसा देश है जहां सभी धर्मों का सम्मान होता है और सभी लोग मिलजुल कर रहते हैं। इसीलिए मैं अपना शेष जीवन इसी पावन धरती पर जीना चाहता हूं।
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