इंडिया न्यूज, पटना, Bihar News: बिहार के कुछ इलाकों में आज भी केंद्र सरकार की अग्निपथ भर्ती योजना के विरोध में बवाल हो रहा है। इस योजना के तहत युवाओं को सेना में चार साल के लिए भर्ती किया जाएगा। केंद्र ने मंगलवार को इसका ऐलान किया था और अगले ही दिन यानी कल से इसका विरोध होना शुरू हो गया है। आज बिहार के जहानाबाद, सहरसा, छपरा और नवादा सहित कई इलाकों में युवा सड़कों पर उतरकर योजना का विरोध कर रहे हैं।

छात्रों ने ट्रेनें रोकीं, सड़कों पर टायर जलाए, यातायात बाधित

युवा प्रदर्शनकारी व छात्रों ने आज नवादा व जहानाबाद ट्रेनों को रोक दिया और केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। हाईवे पर कई जगह टायर भी जलाए गए हैं जिससे यातायात बाधित हो गया है। छात्रों ने कई स्टेशनों पर ट्रेनों को रोक दिया है। विरोध के चलते जहानाबाद में एनएच 83 थोड़ी देर के लिए बाधित रहा। गया-पटना मुख्य मार्ग पर भी आवागमन कुछ देर के लिए प्रभावित हुआ। मुंगेर में छात्रों ने साफियासराय चौक पर जाम लगा दिया और आगजनी की।

जानिए क्या है केंद्र की अग्निपथ योजना

‘अग्निपथ भर्ती योजना’ के अंतर्गत देश के साढ़े 17 साल से 21 साल के युवा लड़के व लड़कियों को सेना में 4 साल के लिए शामिल होने का मौका मिलेगा। इसके लिए शैक्षणिक योग्यता 10वीं से लेकर 12वीं तक होगी। भर्ती की शुरुआत 90 दिन में हो जाएगी। सरकार का इस साल 46 हजार अग्निवीरों की भर्ती करने का प्लान है। पहली भर्ती प्रक्रिया में युवाओं को 6 माह ट्रेनिंग दी जाएगी। ट्रेनिंग का टाइम भी 4 साल में शामिल होगा।

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पहले की तरह भर्ती प्रक्रिया किए जाने की मांग

प्रदर्शनकारियों पहले जैसी भर्ती प्रक्रिया जारी रहने के पक्ष में हैं। उनकी माग है कि टूर आॅफ ड्यूटी (टीओडी) वापस ली जाए और परीक्षा पहले की तरह आयोजित हो। जहानाबाद में एक अन्य प्रदर्शनकारी ने कहा, चार साल काम करके हम कहां जाएंगे? हम बेघर हो जाएंगे। एक अन्य प्रदर्शनकारी ने कहा कि हम सशस्त्र बलों में शामिल होने के लिए दिन-रात मेहनत करते हैं। केवल छह महीने ट्रेनिंग करके हम देश की रक्षा कैसे करेंगे? सरकार को योजना वापस लेनी होगी।

चार साल की सेवा के बाद क्या होगा, जानिए

75 फीसदी जवानों की 4 साल के बाद सेवाएं समाप्त हो जाएंगी। अधिकतम 25 फीसदी जवानों को रेगुलर कैडर में जगह मिलेगी। सेवाएं पूरी होने के बाद ऐच्छिक आधार पर रेगुलर कैडर के लिए आवेदन करना होगा। जिन जवानों को सेवा मुक्त किया जाएगा, उन्हें सशस्त्र बल के साथ ही अन्य सरकारी नौकरियों में वरीयता दी जाएगी।

रक्षा मंत्री ने योजना की लॉन्चिंग के दौरान कहा है कि 4 साल की सेवा देने वाले अग्निवीर को केंद्रीय मंत्रालयों के साथ ही कई राज्यों में आने वाली नौकरियों में प्राथमिकता दी जाएगी। राज्यों के ओर से ऐसी घोषणाएं होना शुरू भी हो गई हैं। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने प्रदेश पुलिस में अग्निवीर जवानों को भर्ती में प्राथमिकता देने की घोषणा की है।

नई योजना के तहत युवाओं को मिलेंगे ज्यादा अवसर

केंद्र की नई योजना के तहत युवाओं को सेना में ज्यादा अवसर मिलेंगे। इसके अंतर्गत भर्ती की प्रक्रिया पहले जैसी ही रहेगी। अभी सेना की औसत आयु 32 वर्ष है और योजना लागू होने के बाद अगले छह से सात वर्ष में यह घटकर 24 से 26 साल हो जाएगी। चयनित होने के बाद छह माह की कठिन ट्रेनिंग होगी और फिर तैनाती की जाएगी।

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