India News (इंडिया न्यूज), BPSC 2024: बिहार सरकार के स्वास्थ्य और कृषि मंत्री मंगल पांडेय ने बीपीएससी पेपर लीक मामले को लेकर नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव पर हमला बोला है। पांडेय ने कहा कि तेजस्वी यादव अपने माता-पिता के शासनकाल के काले दागों को धोने के लिए बीपीएससी परीक्षा के बहाने बिहार के युवाओं को गुमराह कर रहे हैं। उन्होंने तेजस्वी को सलाह दी कि वे एक बार अपने माता-पिता के कार्यकाल को याद करें, जब भ्रष्टाचार को संरक्षण दिया जाता था, जबकि नीतीश कुमार के नेतृत्व में कार्रवाई होती है।
पुरानी बातों को लेकर बोले मंगल पांडेय
मंगल पांडेय ने कहा कि जनवरी 1997 में जब लालू प्रसाद यादव मुख्यमंत्री थे, तो उन्होंने डॉ. लक्ष्मी राय को बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) का अध्यक्ष बनाया था, जिनके खिलाफ भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप थे। पांडेय ने बताया कि डॉ. राय 1996 के इंजीनियरिंग एडमिशन घोटाले के आरोपी थे और सीबीआई जांच का सामना कर रहे थे, फिर भी लालू प्रसाद ने उन्हें बीपीएससी का चेयरमैन नियुक्त किया। 2000 में सीबीआई ने डॉ. राय को गिरफ्तार किया, जबकि वे पद पर बने हुए थे।
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इसके अलावा, पांडेय ने सवाल उठाया कि 2004 में राम सिंहासन सिंह को बीपीएससी का चेयरमैन किसके कार्यकाल में नियुक्त किया गया, जबकि उन्हें और अन्य कर्मचारियों को 2005 में एनडीए सरकार के आने के बाद गिरफ्तार किया गया था। पांडेय ने कहा कि तेजस्वी यादव को यह बताना चाहिए कि क्यों उनके माता-पिता के शासनकाल में भ्रष्टाचार को संरक्षण मिलता था, जबकि नीतीश कुमार के नेतृत्व में अपराधियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होती है।
तेजस्वी यादव गलतियों को स्वीकारें
मंगल पांडेय ने अंत में कहा कि तेजस्वी यादव को अपनी सरकार के समय की गलतियों को स्वीकार करना चाहिए और पेपर लीक के मुद्दे पर युवाओं को गुमराह करने की कोशिश नहीं करनी चाहिए।