India News (इंडिया न्यूज),Delhi Metro Crime: दिल्ली मेट्रो में इस साल चोरी के मामलों में चिंताजनक बढ़ोतरी देखने को मिली है। साल 2024 में अब तक 3,952 चोरी के मामले दर्ज किए गए हैं, जो पिछले साल की तुलना में 242 मामलों की वृद्धि है। चोरी के इन मामलों में यात्रियों और मेट्रो कर्मचारियों की जेब काटने, मोबाइल फोन, पर्स और अन्य कीमती सामान गायब होने जैसी घटनाएं शामिल हैं। दिल्ली पुलिस के आंकड़ों के अनुसार, पिछले साल आठ सितंबर तक 3,709 मामले दर्ज किए गए थे।
ई-प्राथमिकी से दर्ज हो रहे मामले
दिल्ली मेट्रो में दर्ज किए गए 3,952 मामलों में से 3,898 मामले ‘ई-प्राथमिकी’ के माध्यम से दर्ज किए गए। हालांकि, इन मामलों में से केवल 548 को ही इस साल आठ सितंबर तक सुलझाया जा सका है। वहीं, 2023 में इसी अवधि के दौरान 3,648 मामलों में से 1,471 मामलों को सुलझाया गया था, जिससे यह स्पष्ट होता है कि समाधान दर में भी गिरावट आई है।
वाहन चोरी और सेंधमारी के मामले भी बढ़े
मेट्रो परिसर से मोटर वाहन चोरी के मामले भी इस साल बढ़े हैं। 2024 में अब तक 81 वाहन चोरी के मामले दर्ज हुए हैं, जबकि पिछले साल इसी अवधि में 72 मामले दर्ज किए गए थे। सेंधमारी की घटनाओं में भी इजाफा हुआ है, इस साल 11 मामले सामने आए हैं, जबकि 2023 में सिर्फ तीन मामले दर्ज किए गए थे।
दिल्ली पुलिस की सुरक्षा में भी सेंध
दिल्ली मेट्रो की सुरक्षा की जिम्मेदारी दिल्ली पुलिस और केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) के पास है। बावजूद इसके, डकैती और लूटपाट के मामले भी सामने आए हैं। पिछले साल तक डकैती के पांच मामलों में से चार को सुलझा लिया गया था, जबकि इस साल लूट के तीन मामलों में से दो को ही सुलझाया जा सका है। दिल्ली मेट्रो की सुरक्षा के लिए 16 मेट्रो पुलिस थाने और सीआईएसएफ के जवान तैनात हैं, लेकिन चोरी और अन्य अपराधों में हो रही वृद्धि सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े करती है। पुलिस, डीएमआरसी और सीआईएसएफ मिलकर मेट्रो को सुरक्षित रखने के उपाय कर रहे हैं, लेकिन आंकड़े बताते हैं कि इन प्रयासों में और सुधार की जरूरत है।
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