India News(इंडिया न्यूज़),DTC Electric Buses in Delhi: दिल्ली में सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था को मजबूत करने के लिए सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। राजधानी में जल्द ही 1100 नई इलेक्ट्रिक बसें सड़कों पर उतरेंगी। यह घोषणा दिल्ली सरकार में परिवहन मंत्री पंकज कुमार सिंह ने बृहस्पतिवार को सचिवालय में प्रेस वार्ता के दौरान की। उन्होंने कहा कि 31 मार्च से पहले ये सभी बसें सड़कों पर दौड़ने लगेंगी, जिससे यात्रियों को अधिक सुविधाजनक और आरामदायक सफर मिलेगा।

पुरानी बसें बनीं परेशानी, नए बेड़े से मिलेगी राहत

वर्तमान में दिल्ली में करीब 2000 इलेक्ट्रिक बसें संचालित हो रही हैं, जो दिल्ली ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन (डीटीसी) और दिल्ली इंटीग्रेटेड मल्टी मॉडल ट्रांजिट सिस्टम (डिम्ट्स) के अधीन आती हैं। हालांकि, राजधानी में अभी भी 4500 से अधिक सीएनजी बसें चल रही हैं, जिनमें से 90 प्रतिशत अपनी तय उम्र पूरी कर चुकी हैं। पुरानी बसों के चलते-चलते खराब हो जाने की समस्या आम हो गई है, जिससे यात्रियों को न केवल असुविधा होती है बल्कि वे समय पर अपने गंतव्य तक भी नहीं पहुंच पाते।

BJP सरकार के लिए परिवहन सुधार एक बड़ी चुनौती

27 साल बाद दिल्ली की सत्ता में आई भारतीय जनता पार्टी के लिए सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था को पटरी पर लाना एक बड़ी चुनौती साबित हो सकता है। विधानसभा चुनाव के दौरान भाजपा ने बसों की खराब हालत को एक प्रमुख मुद्दा बनाया था और अब इसे सुधारने की दिशा में काम किया जा रहा है। परिवहन मंत्री ने कहा कि यह 1100 नई बसें इस दिशा में पहला बड़ा कदम हैं और आने वाले समय में और भी बसें जोड़ी जाएंगी, ताकि परिवहन नेटवर्क को और मजबूत किया जा सके।

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सरकार ने मांगा फिटनेस सर्टिफिकेट

आम आदमी पार्टी की सरकार ने मोहल्ला बसों की योजना शुरू की थी, जो छोटे आकार की होने के कारण संकरी गलियों में भी आसानी से चल सकती हैं। इस योजना के तहत 250 बसों को ट्रायल पर उतारा गया था, लेकिन भाजपा सरकार अब इन बसों के भविष्य पर पुनर्विचार कर रही है। परिवहन मंत्री पंकज कुमार सिंह ने स्पष्ट किया कि यदि इन बसों की निर्माता कंपनी फिटनेस सर्टिफिकेट उपलब्ध कराती है, तो उनके संचालन पर विचार किया जाएगा, अन्यथा इन्हें वापस कर दिया जाएगा।

यात्रियों के लिए बेहतर सुविधा का वादा

सरकार का कहना है कि नई इलेक्ट्रिक बसों के जुड़ने से दिल्ली में सार्वजनिक परिवहन अधिक सुचारू और पर्यावरण के अनुकूल होगा। यात्रियों को आधुनिक और आरामदायक बसों में सफर करने का अवसर मिलेगा, जिससे ट्रांसपोर्ट नेटवर्क में भी सुधार देखने को मिलेगा।

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