India News (इंडिया न्यूज़), Mahabharata Arjuna: महाभारत एक ऐसा काल जिसकी कहनाइयाँ हम आजतक सुनते हुए आ रहे हैं। युगो-युगो से इसकी कहानियां हमारी दादी से तो कभी नानी से हमने सुनी हैं लेकिन साथ ही महाभारत काल में एक समय ऐसा भी आया था जब अर्जुन को अपना ही भेस छोड़ एक अलग ही भेस धारण करना पड़ा था,

और वो था एक किन्नर का रूप धारण कर कौरवों से छुपना पड़ा था लेकिन आखिर क्यों क्या था इसके पीछे का असल कारण? जी हाँ….! महाभारत के अनुसार, ऐसा सिर्फ इसलिए नहीं हुआ था क्योंकि पांडव कौरवों से जुए में हार गए थे और उन्हें 13 वर्ष के अज्ञातवास के लिए छुपना था और यही थी इसके पीछे की सबसे पहली बड़ी वजह।

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जब अर्जुन गए स्वर्गलोक में इंद्र के पास

महाभारत में अर्जुन के किन्नर बनने का कारण उर्वशी का श्राप था। इसके पीछे की कहानी इस प्रकार है:

जब अर्जुन स्वर्ग में इंद्र के पास गए थे, तब उर्वशी, जो एक अप्सरा थी, अर्जुन पर मोहित हो गई थी। उसने अर्जुन से विवाह का प्रस्ताव रखा, लेकिन अर्जुन ने उसे यह कहते हुए मना कर दिया कि वह उनकी पूर्वजों में से एक है और उसे माता के समान मानते हैं। उर्वशी को अर्जुन का यह उत्तर अपमानजनक लगा और उसने गुस्से में आकर अर्जुन को श्राप दिया कि वह एक वर्ष तक किन्नर के रूप में रहेगा।

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लेकिन श्राप भी बन गया अर्जुन के लिए महत्वपूर्ण

यह श्राप अर्जुन के लिए बहुत महत्वपूर्ण हो गया क्योंकि जब पांडवों को अज्ञातवास में रहना पड़ा, तब अर्जुन ने बृहन्नला नामक किन्नर का रूप धारण कर लिया और महाराज विराट की राजधानी में एक संगीत शिक्षक के रूप में समय बिताया। इस प्रकार उर्वशी के श्राप ने अर्जुन को उस समय के दौरान पहचान छुपाने में मदद की।

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