धर्म

मर्यादा पुरुषोत्तम होने के बाद भी क्यों श्री राम को लगा था ब्रह्महत्या दोष? कैसे मिली थी इससे मुक्ति

India News (इंडिया न्यूज), Shree Ram: हिंदू धर्म में ब्रह्महत्या को महापाप माना गया है। यह पाप इतना गंभीर माना जाता है कि इसे पापों का सबसे बड़ा और विनाशकारी माना जाता है। यह पाप भगवान राम के साथ भी जुड़ा हुआ है, और उनकी कथा से जुड़ी यह जानकारी हमें धर्म और पाप के अद्भुत पहलुओं को समझने में मदद करती है।

भगवान राम पर ब्रह्महत्या का दोष

प्राचीन पौराणिक कथाओं के अनुसार, भगवान राम के जीवन में एक समय ऐसा आया जब उन्हें ब्रह्महत्या का दोष लगा। यह दोष तब लगा जब भगवान राम ने रावण का वध किया। रावण, जो एक ब्राह्मण था, का वध करने के कारण रामजी को इस पाप का भागी माना गया।

रावण का पिता विश्रवा एक महान ब्राह्मण थे, जो ऋषि पुलस्त्य के पुत्र थे। रावण की माता कैकसी राक्षस कुल की थी। इस प्रकार, रावण ब्राह्मण पिता और राक्षसी माता का पुत्र था। हालांकि रावण की जाति और उसकी पृष्ठभूमि बहुत महत्वपूर्ण थी, लेकिन वह ब्राह्मण था और उसके वध के कारण भगवान राम को ब्रह्महत्या का दोष लग गया।

आखिर क्यों भगवान शिव को अति प्रिय होता हैं सावन का महीना? दिल मांगी हर मुराद होती हैं पूरी!

पाप से मुक्ति के उपाय

इस पाप से मुक्त होने के लिए भगवान राम ने कई धार्मिक उपाय किए। मान्यता है कि रामजी ने हत्याहरण तीर्थ सरोवर में स्नान किया था, जो उत्तर प्रदेश के हरदोई जिले के पास नैमिशरण परिक्रमा क्षेत्र में स्थित है। इस तीर्थ स्थल के बारे में मान्यता है कि यहाँ स्नान करने से ब्रह्महत्या के पाप से मुक्ति मिलती है।

इसके अलावा, रामजी ने नासिक के त्र्यम्बकेश्वर मंदिर में पूजा की और रामकुंड में स्नान किया। त्र्यम्बकेश्वर मंदिर एक महत्वपूर्ण धार्मिक स्थल है, और इस कुंड को रामकुंड का नाम दिया गया। यहाँ स्नान करने और पूजा करने से न केवल ब्रह्महत्या दोष से मुक्ति मिलती है, बल्कि पितृदोष से भी छुटकारा मिलता है।

सीखने लायक हैं रावण की ये 5 आदतें, दूसरों से आगे रहना चाहते हैं तो करें ये काम

धार्मिक मान्यता

ये धार्मिक स्थलों और तीर्थों की पौराणिक कथाएँ हमें यह सिखाती हैं कि पापों का प्रायश्चित करने और मोक्ष प्राप्त करने के लिए कठोर तप और धार्मिक क्रियाएँ आवश्यक हैं। भगवान राम के उदाहरण से हमें यह संदेश मिलता है कि धर्म और न्याय की राह पर चलते हुए भी पापों से मुक्त होने के उपाय और साधन मौजूद हैं। इन धार्मिक क्रियाओं के माध्यम से हम अपने कर्मों को सुधार सकते हैं और जीवन की सच्ची राह पर चल सकते हैं।

मरते समय क्यों दुर्योधन ने श्री कृष्णा की ओर देख की थी तीन उंगलियां? क्या था वो संकेत!

Disclaimer: इस आलेख में दी गई जानकारियों का हम यह दावा नहीं करते कि ये जानकारी पूर्णतया सत्य एवं सटीक है। पाठकों से अनुरोध है कि इस लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। इंडिया न्यूज इसकी सत्यता का दावा नहीं करता है।

Prachi Jain

Recent Posts

‘कल को कहेंगे नमाज और जकात…’, वक्फ पर PM मोदी के बयान पर मौलाना मदनी ने किया पलटवार, कही ये बड़ी बात

India News Bihar(इंडिया न्यूज़),Patna News: राजधानी पटना में जमीअत उलेमा-ए-हिंद के संविधान बचाओ सम्मेलन में…

15 minutes ago

पति के मौत पर खुश हुई महिला, पुलिस के जांच के बाद मिला कुछ ऐसा.. पत्नी का रो-रो बुरा हाल

India News(इंडिया न्यूज)MP news: मध्य प्रदेश के देवास जिले से एक चौंकाने वाला मामला सामने…

24 minutes ago

KKR ने श्रेयस को छोड़कर वेंकटेश पर लगाया बड़ा दांव, जमकर हुई पैसों की बारिश, आखिर क्यों मिली इतनी रकम?

Venkatesh Iyer IPL mega auction price: आईपीएल मेगा ऑक्शन में वेंकटेश अय्यर को उनकी पुरानी…

31 minutes ago

अदाणी मामले पर कांग्रेस ने जमकर किया प्रदर्शन, PM मोदी और गृह मंत्री पर उठाए सवाल

India News (इंडिया न्यूज़),Bihar News: मुजफ्फरपुर जिला कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ताओं ने बुधवार को शहर…

33 minutes ago

अपने माता-पिता को खोने के बाद Shah Rukh Khan की तबाह हो गई थी दुनिया, नहीं थे पैसे

अपने माता-पिता को खोने के बाद Shah Rukh Khan की तबाह हो गई थी दुनिया,…

45 minutes ago