इंडिया न्यूज, नई दिल्ली:
Deepawali 2021: हिंदू पंचांग के अनुसार कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को दिवाली का पर्व मनाया जाता है। इस साल 04 नवंबर 2021 (गुरुवार) को दिवाली मनाई जाएगी। दिवाली को दीपों और रोशनी का त्योहार माना जाता है। दिवाली के दिन शाम के समय मां लक्ष्मी के पूजन का विशेष महत्व है। मां लक्ष्मी को धन और वैभव की देवी माना जाता है।
दिवाली के दिन विधि-विधान से लक्ष्मी पूजन किया जाता है। मान्यता है कि दीपावली के लिए लक्ष्मी पूजन से घर में धन और धान्य की कमी नहीं आती है। इस दिन लोग मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए कई तरह के उपाय भी करते हैं। कहा जाता है इनमें से एक या ज्यादा उपाय करने से दरिद्रता दूर होती है और घर मां लक्ष्मी का आगमन होता है।
5 दिवसीय दीपोत्सव में दीपक जलाने का विशेष महत्व है। अगर कोई व्यक्ति भगवान के सामने सच्चे मन से सिर्फ एक दीपक भी जलाता है तो उसकी सभी मनोकामनाएं पूरी हो सकती हैं। दीपावली पर खासतौर पर मिट्टी के दीपक जलाना चाहिए। मिट्टी का दीपक पंचतत्वों से मिलकर बना होता है जिसे बनाने में धरती, आकाश, पानी, अग्नि और वायु का उपयोग होता है।
दीपावली पर मां लक्ष्मी जी की पूजा में घी का दीपक अपने बाएं हाथ की ओर, तेल का दीपक अपने दाएं हाथ की ओर जलाना चाहिए। एक बात का ध्यान रखें कि पूजा के बीच में दीपक बुझना नहीं चाहिए। दीपक भगवान की प्रतिमा के ठीक सामने लगाना चाहिए। अगर दीपक बुझ जाए तो भगवान से क्षमा मांगते हुए फिर से जला देना चाहिए।
घी के दीपक के लिए सफेद रुई की बत्ती उपयोग किया जाना चाहिए। जबकि तेल के दीपक के लिए लाल धागे की बत्ती ज्यादा शुभ रहती है। मां लक्ष्मी की पूजा में जो दीपक खंडित हो जाए, उसे जलाना नहीं चाहिए और किसी भी खंडित चीज का पूजा में उपयोग न करें। पूजा के लिए खंडित सामग्री शुभ नहीं मानी जाती है।