India News (इंडिया न्यूज़), Haryana News : आज से हरियाणा की मंडियों में आज से सरसों की सरकारी खरीद शुरू हो गई है। अंबाला में हालांकि सरसों की खरीद के न तो अंबाला शहर की मंडी और अंबाला कैंट की मंडी को सेंटर बनाया गया, जिसकी वजह से किसानों में काफी रोष दिखाई दे रहा है।
किसानों का कहना है कि अंबाला शहर और अंबाला कैंट में सेंटर न बनाए जाने से किसानों को अपनी सरसों की फसल या तो शहजादपुर ले जानी पढ़ रही है यह फिर साहा, मुलाना लेकर जानी पड़ रही है, जिससे किसानों को काफी नुकसान हो रहा है मजबूरन किसानों को अपनी सरसों की फसल प्राइवेट आढ़तियों को सस्ते दामों में बेचनी पड़ती है। Haryana News
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आज 15 मार्च है और आज से हरियाणा में सरसों की सरकारी खरीद हो चुकी लेकिन फिर भी अंबाला के किसान परेशान है। किसानों की परेशानी का मुख्य कारण ये है कि सरकार ने न तो अंबाला शहर की मंडी को सेंटर बनाया और न ही अंबाला कैंट की मंडी को सरसों की सरकारी खरीद का सेंटर बनाया है। किसानों का कहना है कि सरकार ने सरसों की सरकारी खरीद 5950 रुपए रखी है, लेकिन अंबाला के किसान अगर अपनी सरसों की फसल शहजादपुर , साहा या फिर मुलाना लेकर जाते है तो फिर उनका काफी नुकसान होता है।
जिसकी वजह से उन्हें अपनी फसल को प्राइवेट आढ़तियों को कम दाम में बेचनी पड़ती है और प्राइवेट 5200 से 5300 तक ही खरीद रहे है जिसकी वजह से किसानों को प्रति क्विंटल 600 रुपए से 700 रुपए तक का घाटा पड़ रहा है। किसान सरकार से अपील कर रहे है अंबाला में एक जगह सरकारी खरीद का सेंटर जरूर बनाए चाहे वो अंबाला शहर की मंडी में बनाए या फिर अंबाला कैंट की मंडी में सरसों की सरकारी खरीद का सेंटर बनाए ताकि अंबाला के किसानों को नुकसान न झेलना पड़े। Haryana News
वहीं जब इस बारे में अंबाला कैंट की अनाज मंडी के सेक्रेटरी नीरज भारद्वाज से बात की तो उन्होंने स्पष्ट कर दिया कि अंबाला कैंट और अंबाला शहर में सरसों की सरकारी खरीद का सेंटर नहीं बनाया गया है और अंबाला के शहजादपुर, नारायणगढ़, साहा और मुलाना को मंडियों में सरसों की सरकारी खरीद का सेंटर बनाया गया है और वहां जाकर किसान अपनी सरसों को बेच सकते है और सरकार ने सरसों की सरकारी खरीद 5950 रुपए प्रति क्विंटल रखी है।