India News (इंडिया न्यूज),Haryana News: हरियाणा और पंजाब हाईकोर्ट में एक याचिका दायर कर सजा प्राप्त पूर्व मुख्यमंत्री ओम प्रकाश चौटाला समेत चार पूर्व विधायकों की पेंशन पर रोक लगाने की मांग की गई है। याचिकाकर्ता हरी चंद अरोड़ा ने कहा कि यह जनता के पैसे का दुरुपयोग है, क्योंकि भ्रष्टाचार के आरोप में सजा पाए नेताओं को पेंशन मिल रही है। कोर्ट ने याचिका पर सुनवाई स्थगित करते हुए प्रतिवादियों से जवाब मांगा है।
288 पूर्व विधायकों को मिल रही पेंशन
चंडीगढ़ निवासी हरी चंद अरोड़ा ने अपनी याचिका में कहा कि विधानसभा सचिवालय से मिली सूचना के अनुसार, 288 पूर्व विधायकों को पेंशन दी जा रही है, जिनमें ओम प्रकाश चौटाला को प्रति माह 2 लाख 15 हजार 430 रुपये, अजय चौटाला और शेर सिंह बड़शामी को 50 हजार 100 रुपये, और सतबीर सिंह कादियान को पेंशन दी जा रही है।
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सजा के बावजूद पेंशन को लेकर उठा सवाल
अरोड़ा का तर्क है कि ओम प्रकाश चौटाला, अजय चौटाला और शेर सिंह बड़शामी को 2013 में भ्रष्टाचार के मामले में दस साल की सजा मिली थी, जबकि सतबीर कादियान को 2016 में सात साल की सजा सुनाई गई थी। ऐसे में इन पूर्व विधायकों का पेंशन लेना अनुचित है। विधानसभा अधिनियम 1975 के तहत, यदि किसी विधायक को अदालत से सजा मिलती है, तो वह पेंशन के अयोग्य हो जाता है। इसके बावजूद पेंशन दी जा रही है, जो कानून का उल्लंघन है।
विधानसभा सचिवालय ने दी पेंशन पर सफाई
याचिकाकर्ता का कहना है कि उन्होंने पहले विधानसभा सचिव के समक्ष याचिका दायर कर पेंशन रोकने की मांग की थी, परंतु विधानसभा सचिव ने यह कहते हुए याचिका खारिज कर दी कि इन पूर्व विधायकों की सदस्यता न तो रद्द की गई है और न ही वे अयोग्य ठहराए गए हैं।
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