Anti Depressant Medicine : डिप्रेशन और एंजाइटी में एंटी डिप्रेशन की दवा बहुत राहत दिलाती है, लेकिन कुछ पुरुषों को ये दवा उनके सेक्स लाइफ को बुरी तरह प्रभावित भी करती है। इसलिए डर के कारण अवसाद या चिंता होने के बावजूद वे इन दवाइयों का इस्तेमाल नहीं करते। हालांकि इन दवाइयों के कारण सेक्स प्रोब्लम आम बाती है। आमतौर पर इन दवाइयों के साइड इफेक्ट के कारण यौन संबंध बनाने में दिक्कतें आती हैं।
वेबएमडी की रिपोर्ट के मुताबिक कुछ पुरुषों में इन दवाइयों के सेवन से सेक्शुअल डिजाइर कम हो जाती है जबकि कुछ में इजेकुलेशन में दिक्कत होती है। कोलंबिया यूनिवर्सिटी के मनोचिकित्सक डेविड जे हेलरस्टीन का कहना है कि अगर दवाई का सेवन लगातार किया जाए, तो ज्यादातर पुरुषों को एंटी डिप्रेशन दवाइयों के कारण सेक्शुअल डिसफंक्शन की समस्या से छुटकारा मिल सकता है।
डॉक्टर हेलरस्टीन कहते हैं, ऐसे मामले में मरीज अक्सर घबरा जाते हैं। वे गूगल पर जाते हैं और सेक्शुअल डिसफंक्शन टाइप करते हैं और अधकचरे ज्ञान प्राप्त कर तुरंत ही निष्कर्ष पर पहुंच जाते हैं। वास्तव में सेक्शुअल डिसफंक्शन के लिए एक नहीं कई कारण हो सकते हैं। डिप्रेशन और एंजाइटी अपने आप में बहुत बड़े कारण हैं। इसके अलावा ड्रग्स, शराब आदि का सेवन भी सेक्शुअल लाइफ को प्रभावित करते हैं। (Anti Depressant Medicine)
उन्होंने कहा, हमारे पास कई ऐसे मरीज भी आए हैं, जिन्हें एंटी डिप्रेशन की दवा लेने के बाद सेक्शुअल फंक्शन बेहतर हुआ है। एंटी डिप्रेशन की दवा से अगर सेक्शुअल फंक्शन प्रभावित हुआ है, तो इसका सबसे बड़ा कारण डिप्रेशन ही है। अगर डिप्रेशन सही हो जाए तो सेक्शुअल फंक्शन भी सही हो सकता है। यानी डिप्रेशन की वजह से सेक्शुअल लाइफ प्रभावित हुआ है न कि एंटी डिप्रेशन की दवा से।
हेलरस्टीन कहते हैं कि अगर आपको लगे कि एंटी डिप्रेशन की दवा से सेक्शुअल फंक्शन प्रभावित हुआ है, तो अपने साइकियेट्रस्ट से मिलें, न कि किसी तरह के निष्कर्ष पर पहुंचे। अपने आप एंटी डिप्रेशन की दवा या इलाज को न छोड़ें। इससे और ज्यादा नुकसान झेलना पड़ सकता है। कभी-कभी बॉडी एडजस्ट होने के बाद अपने आप सेक्शुअल फंक्शन सही हो जाता है। इसका सबसे आसान उपाय यह है कि दवा को छोड़ने के बजाय दवा की खुराक बदल लें। लेकिन यह काम डॉक्टर की सलाह के बिना न करें। (Anti Depressant Medicine)
डॉक्टर के पास जाएं और उनकी सलाह से ऐसा करें। ऐसे मामले में आमतौर पर डॉक्टर डोज में परिवर्तन कर देते हैं। एंटी डिप्रेशन के तौर पर दो ग्रुप की दवाइयां दी जाती है। एक ग्रुप है सेरोटोनिन रियूप्टेक इनहीबिटर्स इसमें सिटालोप्राम, पेरोक्सोटीन, पेक्सिल दवा प्रमुख है। सेक्शुअल फंक्शन के लिए सबसे ज्यादा शिकायतें पेक्सिल दवा को लेकर है। दूसरा ग्रुप है- सेरोटोनिन नोरेपीनेफ्राइन रियूप्टेक इनहीबिटर्स। इसमें डूलोक्सोडिन, लेवोमिलनेसीप्रान आदि दवा प्रमुख है। (Anti Depressant Medicine)
Disclaimer: लेख में उल्लिखित सुझाव केवल सामान्य जानकारी के उद्देश्य से हैं और इसे पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी फिटनेस व्यवस्था या चिकित्सकीय सलाह शुरू करने से पहले कृपया डॉक्टर से सलाह लें।
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