India News (इंडिया न्यूज), H1N2 Virus Of Swine Flu: स्वाइन फ्लू को आमतौर पर H1N1 वायरस भी कहते हैं। यह इंफ्लुएंजा के एक नए स्ट्रेन की तरह ही होता है, क्योंकि इसके लक्षण भी बिलकुल सामान्य फ्लू की तरह ही होते हैं जिससे व्यक्ति कन्फ्यूज़ भी हो जाता हैं। यह सूअरों जैसे जानवर में होने वाली एक बीमारी है, जो पहली बार साल 2009 में इंसानों में भी देखने को मिली थी। स्वाइन फ्लू के H1N2 और H1N3 वैरिएंट भी हैं जोकि काफी घातक भी हैं, हालाँकि ये इंसानों में उतनी तेजी से नहीं फैलते हैं। साथ ही इनके केस भी काफी कम ही देखने को मिलते हैं लेकिन अब एक नई स्टडी में सामने आया हैं कि H1N2 ने इसके अंतर्गत आगाह किया है कि, इसे अगली महामारी बताया जायेगा। आइए जानते हैं क्या कहती है स्टडी…
स्वाइन फ्लू का H1N2 वायरस बन सकता हैं मौत का कारण जाने कैसे:
स्वाइन फ्लू के H1N2 वायरस से मौत की संभावना ज्यादातर निम्नलिखित कारणों से हो सकती है:
गंभीर संक्रमण:
अगर संक्रमण गंभीर होता है और संक्रमित व्यक्ति के शरीर में वायरस की संख्या बहुत ज्यादा होती है, तो यह शरीर के लिए जानलेवा हो सकता है।
उम्र:
बच्चों और बूढ़े लोगों में, और उन्हें स्वाइन फ्लू के खिलाफ प्राकृतिक प्रतिरक्षा कम होती है, इसलिए उन्हें संक्रमण के खतरे को ज्यादा होता है।
अन्य स्वास्थ्य समस्याएं:
जिन लोगों के पास पहले से ही किसी अन्य स्वास्थ्य समस्या जैसे कि डायबिटीज, हृदय रोग, या अन्य अनुवंशिक समस्याएं हैं, उनके लिए स्वाइन फ्लू का संक्रमण ज्यादा खतरनाक हो सकता है।
दौरानी देखभाल की कमी:
अगर संक्रमित व्यक्ति को सही समय पर ठीक तरीके से देखभाल नहीं मिलती, तो वायरस का प्रभाव बढ़ सकता है।
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आखिर क्या कहता है अध्ययन
हाल ही में एक अध्ययन में पता चला है कि सूअर आईएवी के महामारी के खतरे के आंकलन के लिए इन विट्रो और इन विवो दो तरीकों का इस्तेमाल कर H1N1 महामारी के बाद विस्तार से अध्ययन किया गया। इस अध्ययन में H1N2 में महामारी का खतरा पाया गया है।