India News Himachal (इंडिया न्यूज),Himachal News: राष्ट्रीय राजमार्गों के निर्माण में बढ़ोतरी लाने के लिए एक कड़ा कदम उठाते हुए केंद्रीय सड़क परिवहन एवं उच्च मार्ग मंत्रालय ने आदेश जारी किया है कि अब इन परियोजनाओं के लिए कुछ शर्तों के तहत सिंगल टेंडर स्वीकार होगे। इस संबंध में मंत्रालय में नई तकनीक और उच्च मार्ग विकास निदेशक विदुर कांत झा ने हिमाचल प्रदेश की सरकार के मुख्य सचिव और प्रधान सचिव लोक निर्माण को भी 1 पत्र भेजा है। इसमें साफ बताया है कि दोबारा टेंडर बुलाए जाने से परियोजना निर्माण में बहुत समय लग रहा है। इसीलिए यह फैसला लिया गया है। हालांकि एकल निविदा स्वीकार करने के योग्यता मानदंड ज्याद कड़ा नहीं होना चाहिए। जिससे निष्पक्ष और प्रतिस्पर्धी बोली लगाने का माहौल सुनिश्चित हो।
विकास में तेजी लाने में मदद मिलेगी
एकल बोलियों की इजाजत लेकर मंत्रालय को उम्मीद है कि इससे खरीद प्रक्रिया को सुव्यवस्थित करने और राष्ट्रीय राजमार्गों के विकास में बढ़ोतरी लाने में काफी सहायता मिलेगी। पत्र में बोली मूल्यों की तर्कसंगतता का मूल्यांकन करने के आदेश दिए हैं। इसमें अन्यत्र दिए समान अनुबंधों से तुलना करना, मुद्रास्फीति, भौगोलिक स्थितियों और सामग्रियों की ढुलाई पर विचार करना भी है।
अनावश्यक देरी का सामना करना पड़ा
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि राज्य सूचना आयोग ने PWD के चतुर्थ सर्किल शिमला के पहले अपीलीय प्राधिकरण यानी अधीक्षण अभियंता को RTI अपील का समय पर समाधान न करने की आलोचना की। इसके कारण अपील करने वाले को अनावश्यक देरी का सामना करना पड़ा। आयोग ने बताया कि प्रथम अपीलीय प्राधिकरण ने RTI अधिनियम के तहत निर्धारित समय सीमा में प्रथम अपील का निपटारा अभी नहीं हुआ। इस देरी के कारण अपीलकर्ता को मामला राज्य सूचना आयोग में लाना पड़ा। यदि तत्काल कार्रवाई होती तो इसे टाल सकते थे। यह आदेश राज्य मुख्य सूचना आयुक्त आरडी धीमान ने दिया है।
समाधान न करने की आलोचना की
PWD के चतुर्थ सर्किल शिमला के पहले अपीलीय प्राधिकरण यानी अधीक्षण अभियंता को RTI अपील का समय पर समाधान न करने की आलोचना की। इसके कारण अपील करने वाले को अनावश्यक देरी का सामना करना पड़ा। आयोग ने बताया कि प्रथम अपीलीय प्राधिकरण ने RTI अधिनियम के तहत निर्धारित समय सीमा में प्रथम अपील का निपटारा अभी नहीं हुआ। इस देरी के कारण अपीलकर्ता को मामला राज्य सूचना आयोग में लाना पड़ा। यदि तत्काल कार्रवाई होती तो इसे टाल सकते थे। यह आदेश राज्य मुख्य सूचना आयुक्त आरडी धीमान ने दिया है।