राजस्थान के कई जिलों मे खतरा मंडरा रहा है अजमेर संभाग का सबसे बड़ा बीसलपुर बांध आज खतरा बन गया है। बांध की जलभराव क्षमता 315.50 पूरी होने पर शुक्रवार सुबह करीब 8 बजे बांध के दो गेट खोले गए। कलेक्टर चिन्मयी गोपाल, जल संसाधन विभाग के इंजीनियर वीरेंद्र सिंह सागर व अन्य अधिकारियों ने गेट खोलने से पहले बीसलपुर बांध पर पूजा-अर्चना कर खुशहाली की कामना की है।
बीसलपुर बांध में प्रदेश की कई नदियों का पानी जाता है। यहां बेड़च,बनारस,कोठारी,त्रिवेणी,बेड़च,कोठारी,मेनाली नदी का पानी आता है। बीसलपुर बांध का निर्देशन वर्ष 1985 में मुख्यमंत्री शिवचरण माथुर व सिंचाई मंत्री परसराम मदेरणा ने किया था। निर्देशन के 2 साल बाद वर्ष 1987 में इस बांध का निर्माण कार्य प्रारंभ हो सका।
बांध बनने में करीब 9 साल का समय लगा। वर्ष 1996 में यह बांध बनकर तैयार हो गया था। इस बांध की जलभराव क्षमता 315.50 मीटर है। इसमें 38.708 टीएमसी पानी का भराव हो सकता है।
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