India News(इंडिया न्यूज),Lok Sabha Elections: लोकसभा चुनाव: इंडिया अलायंस ने आगामी लोकसभा चुनाव में गाजियाबाद लोकसभा सीट पर कांग्रेस उम्मीदवार उतारने की घोषणा की है। पिछले लोकसभा चुनाव में इस सीट पर सपा कभी नहीं जीती, एक बार कांग्रेस ने जीत हासिल की है। अब कांग्रेस साइकिल के सहारे इस लोकसभा सीट पर दोबारा कब्ज़ा करना चाहती है।
इन पर दांव लगा सकती है कांग्रेस
इसे लेकर पार्टी अब ऐसे चेहरे की तलाश में है जो न सिर्फ गाजियाबाद में सक्रिय हो बल्कि वह जिस जाति का है, उसके मतदाता यहां निर्णायक भूमिका निभाएं। ऐसे में उम्मीद है कि कांग्रेस किसी वैश्य या ब्राह्मण चेहरे पर दांव लगा सकती है। बुधवार को उत्तर प्रदेश में सीटों को लेकर सपा और कांग्रेस के बीच बंटवारा हो गया, गठबंधन के तहत यह सीट कांग्रेस को दे दी गई है।
गाजियाबाद सीट का बंटवारा
गाजियाबाद में मतदाताओं की बात करें तो यहां मतदाताओं की कुल संख्या लगभग 24 लाख है, जिसमें 4 लाख ब्राह्मण मतदाता, 3 लाख वैश्य मतदाता, 2 लाख पंजाबी मतदाता, 1।5 लाख गुर्जर मतदाता, 2 लाख त्यागी मतदाता, 2.5 लाख अनुसूचित जाति के मतदाता शामिल हैं। ,जाट वोटर 1.5 लाख, मुस्लिम वोटर 3 लाख हैं। 20 साल पहले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के सुरेंद्र प्रकाश गोयल अकेले ऐसे उम्मीदवार रहे हैं, जिन्होंने बीजेपी प्रत्याशी रमेश चंद तोमर को हराया था।
15 साल पहले हार गई थी कांग्रेस यह सीट
ऐसे में कांग्रेस को उम्मीद है कि वह गठबंधन के सहारे 15 साल पहले खोई हुई सीट दोबारा हासिल कर सकती है। हालांकि, पिछले तीन साल से गाजियाबाद की इस सीट पर काबिज बीजेपी को हराना कांग्रेस के लिए आसान नहीं होगा, क्योंकि इस सीट पर बीएसपी भी अपना उम्मीदवार उतारेगी। इस सीट पर लड़ाई त्रिकोणीय होगी, लेकिन मुख्य मुकाबला कांग्रेस और बीजेपी के बीच होने की उम्मीद है।
आपको बता दें कि दोनों पार्टियों के शीर्ष नेतृत्व ने किसानों, बेरोजगारों और अन्य लोगों की समस्याओं को देखते हुए जो फैसला लिया है, वह बहुत अच्छा है। गाजियाबाद सीट कांग्रेस को मिल गई है, इसलिए चुनाव मजबूती से लड़ा जाएगा और जिस तरह 2004 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी को हार मिली थी, उसी तरह कांग्रेस एक बार फिर यह सीट जीतकर इतिहास रचेगी।
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