India News (इंडिया न्यूज), Crime News: राजधानी लखनऊ के काकोरी इलाके में शुक्रवार रात दो युवकों की हत्या से सनसनी फैल गई। काकोरी इलाके के रहने वाले मनोज और रोहित की सड़क पर गला रेतकर बेरहमी से हत्या कर दी गई। मौके पर पहुंची पुलिस की शुरुआती जांच में हत्या की वजह साफ नहीं हो पाई, लेकिन जैसे ही मृतक मनोज राजपूत और रोहित राजपूत के मोबाइल फोन की कॉल डिटेल निकाली गई तो एक नंबर संदिग्ध मिला। घटना से दो महीने पहले तक मनोज इस नंबर से रोजाना बात कर रहा था, लेकिन पिछले दो महीने में उसने इस नंबर से सिर्फ तीन-चार बार ही बात की थी। वहीं, एक नंबर ऐसा भी मिला, जिससे मनोज रोजाना बात कर रहा था। दो महीने पहले वाले नंबर और नए नंबर दोनों की लोकेशन एक ही जगह आ रही थी।

पुलिस ने अंकिता को पकड़ा

पुलिस को वह आईडी तो नहीं मिल पाई, जिस पर नया नंबर लिया गया था, लेकिन पुराना नंबर काकोरी की अंकिता उर्फ ​​दीपिका का निकला। पुलिस ने अंकिता को उठाया तो पूरे हत्याकांड का खुलासा हो गया। अंकिता से जानकारी मिलने के बाद पुलिस ने उसके पति महेंद्र को उठा लिया। यूपी पुलिस के कांस्टेबल महेंद्र वर्तमान में लखीमपुर खीरी में तैनात थे। डीसीपी पश्चिम विश्वजीत श्रीवास्तव के मुताबिक, अंकिता और मनोज के बीच स्कूल के दिनों से ही अवैध संबंध थे। अंकिता की शादी महेंद्र से 2021 में हुई थी लेकिन शादी के बाद भी अंकिता के मनोज से संबंध जारी रहे। दिसंबर 2024 में महेंद्र को अंकिता और मनोज के संबंधों के बारे में पता चला। महेंद्र ने अंकिता से कहा कि उसे तय करना होगा कि वह उसके साथ रहना चाहती है या मनोज के साथ।

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अंकिता ने क्या बताया?

अंकिता ने कहा कि वह अपने पति महेंद्र के साथ रहेगी। इसके बाद महेंद्र ने मनोज को रास्ते से हटाने की साजिश शुरू कर दी जिसमें अंकिता भी शामिल थी। साजिश के तहत महेंद्र ने फर्जी आईडी पर दो सिम कार्ड लिए। एक अंकिता के पास था और दूसरा महेंद्र के पास। अंकिता अपने नए सिम से मनोज से बात करती थी और उसी सिम से महेंद्र के नए नंबर पर बात करती थी लेकिन पिछले दो महीने में लापरवाही के चलते अंकिता ने पुराने नंबर से दो-तीन बार मनोज से बात की। मनोज की कॉल डिटेल में आया यह नंबर खुलासे की वजह बना। यह वही नंबर था जिससे अंकिता दो महीने पहले तक रोजाना बात करती थी लेकिन अचानक इस नंबर पर बात कम ही होने लगी। घटना वाले दिन अंकिता ने मनोज को फोन कर मिलने के लिए बुलाया।

इस तरह की हत्या

उधर, महेंद्र अयोध्या से ड्यूटी के बाद लखीमपुर के लिए निकला था, जिसे अंकिता ने बुलाया था। महेंद्र अपने एक भतीजे और दो दोस्तों के साथ सड़क किनारे छिपकर मनोज का इंतजार करने लगा। महेंद्र और उसके साथियों ने मनोज की हत्या कर दी। मनोज के साथ आए रोहित की बदकिस्मती देखिए। महेंद्र सिपाही था। इसलिए वह जानता था कि हत्या के चश्मदीद को जिंदा नहीं छोड़ना चाहिए, इसलिए उसने मासूम रोहित को भी मार डाला। रोहित बचपन में महेंद्र के साथ पढ़ता था, वह महेंद्र को जानता था।

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इस डर से कर दी रोहित की हत्या

पहचान उजागर होने के डर से महेंद्र ने रोहित की भी हत्या कर दी। वारदात को अंजाम देने के बाद महेंद्र लखीमपुर भाग गया, लेकिन अंकिता के मोबाइल की शुरुआती जांच में मनोज का नाम सामने आया, जिसके बाद पुलिस को महेंद्र और उसकी पत्नी को गिरफ्तार करने में कोई दिक्कत नहीं हुई। पुलिस हिरासत में दोनों ने हत्या की बात कबूल कर ली। पुलिस ने महेंद्र और उसकी पत्नी को जेल भेज दिया है। तीन अन्य आरोपियों की तलाश में छापेमारी जारी है।

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