India News (इंडिया न्यूज़), Electric Vehicle: सरकार की कैबिनेट की मीटिंग में बुधवार को एक बड़ा फैसला लिया गया। मीटिंग खत्म होने के बाद केंद्रिय मंत्री अनुराग ठाकुर ने बताया कि सरकार ने मीटिंग में पीएम इलेक्ट्रिक बस सेवा को मंजूरी दे दी है। इस योजना के तहत देश भर में फिलहाल 10 हजार ई-बसें उपलब्ध कराई जाएंगी। केंद्रीय मंत्री ने बताया कि इन बसों पर 57, 613 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।

प्राइवेट पार्टनरशिप मॉडल पर चलेंगी बसें

केंद्रीय कैबिनेट के फैसलों पर ब्रीफिंग के दौरान केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने बताया कि 57,613 करोड़ रुपए में से 20,000 करोड़ रुपए केंद्र सरकार देगी। उन्होंने कहा कि यह योजना 3 लाख और उससे अधिक आबादी वाले शहरों को कवर करेगी। इस योजना के तहत पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (PPP) मॉडल पर 10,000 ई-बसों के साथ सिटी बस संचालन किया जाएगा। यह योजना 10 वर्षों तक बस संचालन का समर्थन करेगी।

फिलहाल सरकार के द्वारा ये स्पष्ट नहीं किया गया है कि ये बसें किन शहरों में चलाई जाएंगी। हालांकि केंद्रीय मंत्री ने इसे लेकर जानकारी दी कि ये योजना 3 लाख से अधिक अवादी वाले क्षेत्रों के कवर करेगी।

लोगों को मिलेगा रोजगार

पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप मोड वाली इस योजना 2027 से शुरु होकर 2037 तक चलेगी। सरकार ने इसके लिए 10 सालों तक प्राइवेट कंपनियों से सहयोग की सीमा रखी है। इस योजना के तहत सभी राजधानियों, केंद्र शासित प्रदेश, नार्थ-ईस्ट राज्यों और हिल स्टेशन को कवर किया जाएगा। सरकार की माने तो ये स्कीम साफ तौर पर 45,हजार से लेकर 55 हजार लोगों को रोजगार देगी। केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि, ग्रीन अर्बन मोबिलिटी पहल के तहत, बाइक शेयरिंग, साइकिल लेन जैसे गैर-मोटर चालित इंफ्रास्ट्रक्चर के साथ-साथ बस रैपिड परिवहन परियोजनाएं विकसित की जाएंगी।

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