India News (इंडिया न्यूज़), Himachal Pradesh: हिमाचल प्रदेश में इस साल मॉनसूनी बारिश ने अपना कहर मचा रखा है। पिछले 72 घंटों से लगातार हो रही भारी बारिश से शिवालिक पर्वत पर बसा हिमाचल प्रदेश लैंडस्लाइड की घटनाओं से गूजर रहा है। प्रदेश की राजधानी में बारिश के साथ लैंडस्लाइड होने की वजह से 100 से अधिक लोगों ने अपनी जान गवा दी है। वहीं कई जगह सड़क घसने और भारी बारिश की वजह से प्रदेश को करीब 7 हजार करोड़ से भी ज्यादा का नुकसान झेलना पड़ा है।

प्रदेश में 1 जून से अब तक 43% ज्यादा बारिश हुई

वहीं शिमाल मौसम केंद्र के IMD वैज्ञानिक ने कहा कि पिछले 24 घंटों में राज्य में छिटपुट बारिश हुई। इस बार मॉनसून अपने चरम पर है। उन्होंने कहा कि अगर पर नजर डालें तो हिमाचल प्रदेश में 1 जून से अब तक 43% ज्यादा बारिश हुई है। अगले 4-5 दिन मानसून कमजोर रहेगा, बारिश कम होगी। 25 अगस्त तक राज्य में नियंत्रित बारिश होगी।

राजनीतिक आरोप प्रत्यरोप का सिलसिला जारी

इसके अलावा बारिश के साथ प्रदेश की राजनीति पर भी बड़ा असर पड़ रहा है। केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि हिमाचल प्रदेश में जालमाल का नुकसान हुआ है। आपदा ने संकट खड़े हैं लेकिन कुछ राजनीतिक दल खासकर कांग्रेस इसपर राजनीति कर रही है। उन्होंने कहा कि सब मिलकर एक दूसरे की मदद करें। केंद्र सरकार हर तरह की मदद कर रही है। मैं हिमाचल प्रदेश 20-21 अगस्त में जाऊंगा और प्रभावित लोगों से मिलूंगा।

सीएम ने की वित्तीय सहायता उपलब्ध करवाने की घोषणा

हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कांगड़ा जिले के इंदौरा और फतेहपुर क्षेत्र में बाढ़ की स्थिति का हवाई सर्वेक्षण किया। प्रदेश सरकार लगातार बचाव अभ्यान का नेतृत्व कर रही है। सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सार्वजनिक एवं निजी संपत्ति को हुए नुकसान के लिए वित्तीय सहायता उपलब्ध करवाने की घोषणा भी की। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त मकानों की मरम्मत के लिए प्रभावित परिवारों को एक-एक लाख रुपये की राशि प्रदान करेगी।

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