India News (इंडिया न्यूज), Congress: हिमाचल प्रदेश में अपने कई विधायकों की बगावत के करीब आठ महीने बाद कांग्रेस ने बुधवार को प्रदेश कांग्रेस कमेटी (पीसीसी) की पूरी इकाई को तत्काल प्रभाव से भंग कर दिया है। इसके साथ ही प्रतिभा सिंह ने करीब ढाई साल बाद प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष पद को अलविदा कह दिया। हालांकि, वह फिलहाल कांग्रेस कार्यसमिति की स्थायी आमंत्रित सदस्य हैं।
साल 2022 में बनीं थीं हिमाचल प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष
हम आपको जानकारी के लिए बता दें कि, प्रतिभा सिंह अप्रैल 2022 में प्रदेश कांग्रेस कमेटी की अध्यक्ष बनीं। पार्टी ने जिला अध्यक्षों और ब्लॉक कांग्रेस कमेटी के साथ-साथ पीसीसी की पूरी इकाई को भंग करने का फैसला किया है। पार्टी के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल के मुताबिक, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने प्रदेश कांग्रेस कमेटी (पीसीसी) की सभी इकाइयों, जिला कांग्रेस अध्यक्षों और सभी ब्लॉक कांग्रेस कमेटियों को तत्काल प्रभाव से भंग करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है।
प्रतिभा सिंह और उनकी बेटे की वजह से कांग्रेस हुई असहज
कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि संगठन के पुनर्गठन के लिए यह कदम उठाया गया है। हालांकि इसे आठ महीने पहले के राजनीतिक घटनाक्रम और उसके बाद के कुछ अन्य घटनाक्रमों से भी जोड़कर देखा जा रहा है, जब प्रतिभा सिंह और उनके बेटे व राज्य सरकार के मंत्री विक्रमादित्य सिंह के बयानों के कारण कांग्रेस को असहज स्थिति का सामना करना पड़ा था। इस साल फरवरी में राज्यसभा चुनाव के दौरान हिमाचल प्रदेश की कांग्रेस सरकार उस समय मुश्किल में आ गई थी, जब पार्टी के छह विधायकों ने बगावत कर भाजपा उम्मीदवार हर्ष महाजन के पक्ष में मतदान कर दिया था। इसके कारण कांग्रेस उम्मीदवार अभिषेक सिंघवी को हार का सामना करना पड़ा था। बागी विधायकों को प्रतिभा सिंह का करीबी माना जाता था।