India News (इंडिया न्यूज), Asaduddin Owaisi On Waqf Bill : वक्फ बिल के लोकसभा और फिर राज्यसभा से पास होने के बाद से ही विपक्ष सरकार पर भड़क गया है। इस बिल का विरोध करने वालों में एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी सबसे आगे हैं। बिल पास होने के बाद भी ओवैसी हार मानते नहीं दिख रहे हैं। अब एआईएमआईएम प्रमुख ने सरकार पर वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 में गुपचुप तरीके से नया प्रावधान जोड़ने का आरोप लगाया है। ओवैसी का कहना है कि बिल की 3डी धारा बहस और पारित होने के दिन ही पेश की गई, जो पूरी तरह से असंवैधानिक है।
ओवैसी ने आरोप लगाया कि यह प्रावधान मुस्लिम धार्मिक स्थलों (मस्जिद, इमामबाड़े, दरगाह) को वक्फ बोर्ड से छीनने की साजिश है। उन्होंने कहा कि यह धारा मूल बिल में नहीं थी, बल्कि बहस के दिन गुपचुप तरीके से जोड़ दी गई।
Asaduddin Owaisi On Waqf Bill : Owaisi ने बताया कानून बनते ही कौन-सी संपत्तियों को टेकओवर करेगी सरकार
बिल की 3डी धारा को लेकर ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) प्रमुख ने बड़ा दावा करते हुए कहा कि 3डी धारा से मस्जिद, इमामबाड़े और दरगाह जैसी धार्मिक संपत्तियां वक्फ बोर्ड से छिन जाएंगी और मुस्लिम समुदाय अपने धार्मिक स्थल खो देगा। उनका आरोप है कि यह कानून वक्फ संपत्तियों की सुरक्षा नहीं करता, बल्कि उन्हें छीनने का जरिया बन गया है।
मोदी सरकार पर आरोप लगाते हुए ओवैसी ने दावा किया है कि इस बिल के कानून बन जाने के बाद सरकार दिल्ली में करीब 180 वक्फ संपत्तियों को निशाना बनाएगी, जो फिलहाल भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) के अवैध कब्जे में हैं। उन्होंने कहा कि सच्चर कमेटी ने इन संपत्तियों को वक्फ घोषित कर दिल्ली वक्फ बोर्ड को सौंपने की सिफारिश की थी, लेकिन अब सरकार इन्हें छीनने की तैयारी कर रही है।
इसके अलावा ओवैसी ने यह भी बताया कि उन्होंने संयुक्त संसदीय समिति (JWC) की बैठक में इस प्रस्ताव के खिलाफ लिखित विरोध दर्ज कराया था। उन्होंने कहा, दुर्भाग्य से, मैं लोकसभा में इस मुद्दे पर आवाज उठाने वाला अकेला व्यक्ति था। ओवैसी ने इस विधेयक को काला कानून करार देते हुए कहा कि यह मुसलमानों की धार्मिक पहचान और अधिकारों पर सीधा हमला है।
आपको बता दें कि सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2025 का विरोध करते हुए बुधवार को लोकसभा में इसके मसौदे की कॉपी फाड़ दी थी। इसके बाद ओवैसी ने कहा था कि यह भारत की आस्था पर हमला है और मुसलमानों को अपमानित करने के लिए लाया गया है। उन्होंने कहा, इस विधेयक को लाकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के सबसे बड़े अल्पसंख्यक समूह के खिलाफ युद्ध छेड़ दिया है।