India News (इंडिया न्यूज), Rahul on Lateral Entry: लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने एक बार फिर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार पर हमला बोला है। यूपीएससी द्वारा हाल ही में की गई भर्ती का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि यह सरकार संघ लोक सेवा आयोग के बजाय राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के जरिए बड़े पदों पर भर्ती कर रही है। राहुल गांधी ने कहा कि नरेंद्र मोदी संघ लोक सेवा आयोग के बजाय राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के जरिए लोक सेवकों की भर्ती कर संविधान पर हमला कर रहे हैं। केंद्र सरकार के विभिन्न मंत्रालयों में महत्वपूर्ण पदों पर लेटरल एंट्री के जरिए भर्ती कर एससी, एसटी और ओबीसी वर्ग के आरक्षण को खुलेआम छीना जा रहा है।

इस नियम को लेकर उठाया सवाल

बता दें कि, मैंने हमेशा कहा है कि टॉप ब्यूरोक्रेसी समेत देश के सभी शीर्ष पदों पर वंचितों का प्रतिनिधित्व नहीं है। उसे सुधारने के बजाय लेटरल एंट्री द्वारा उन्हें शीर्ष पदों से और दूर किया जा रहा है। यह UPSC की तैयारी कर रहे प्रतिभाशाली युवाओं के हक़ पर डाका और वंचितों के आरक्षण समेत सामाजिक न्याय की परिकल्पना पर चोट है। चंद कॉरपोरेट्स के प्रतिनिधि निर्णायक सरकारी पदों पर बैठ कर क्या कारनामे करेंगे इसका ज्वलंत उदाहरण SEBI है। जहां निजी क्षेत्र से आने वाले को पहली बार चेयरपर्सन बनाया गया। साथ ही प्रशासनिक ढांचे और सामाजिक न्याय दोनों को चोट पहुंचाने वाले इस देश विरोधी कदम का INDIA मजबूती से विरोध करेगा। IAS का निजीकरण आरक्षण खत्म करने की मोदी की गारंटी है।

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शिक्षकों की भर्ती पर यूपी सरकार को घेरा

बता दें कि, 69,000 सहायक शिक्षकों की भर्ती पर इलाहाबाद हाईकोर्ट का फैसला आरक्षण व्यवस्था के साथ खिलवाड़ करने वाली भाजपा सरकार की साजिशों को करारा जवाब है। यह 5 वर्षों से सर्दी, गर्मी, बरसात में सड़कों पर निरंतर संघर्ष कर रहे अमित मौर्या जैसे हज़ारों युवाओं की ही नहीं, सामाजिक न्याय की लड़ाई लड़ने वाले हर योद्धा की जीत है। उन्होंने आगे लिखा कि आरक्षण छीनने की भाजपाई ज़िद ने सैकड़ों निर्दोष अभ्यर्थियों का भविष्य अंधकार में धकेल दिया है। पांच साल ठोकरें खा कर बर्बाद होने के बाद जिनको नई सूची के ज़रिए नौकरी मिलेगी और जिनका नाम अब चयनित सूची से कट सकता है।दोनों की ही गुनहगार सिर्फ भाजपा है।

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