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Russia Ukraine War India Update : जंग के बीच क्या अंतरराष्ट्रीय राजनीति का सेंटर बन रहा भारत, हाल में कई देशों के मंत्री कर चुके हैं दौरा

Suman Tiwari • LAST UPDATED : April 3, 2022, 3:31 pm IST

इंडिया न्यूज, नई दिल्ली:
Russia Ukraine War India Update:
रूस और यूक्रेन का युद्ध शुरू हुए आज 39वां दिन है। कहते हैं कि जब से दोनों देशों का युद्ध शुरू हुआ है तब से लेकर अभी तक कई देशों के पीएम सहित कई विदेश मंत्री और बड़े अधिकारी भारत आ चुके हैं। सभी विदेशी मंत्रियों ने अपने-अपने तर्क भी दिए हैं। इसी वजह से यह चर्चा चल रही है कि क्या भारत अंतरराष्ट्रीय राजनीति के सेंटर में आ चुका है। तो आइए जानते हैं कि किन देशों के विदेशमंत्री भारत का कर चुके हैं दौरा, और किसने क्या कहा।

आपको बता दें कि 24 फरवरी 2022 से रूस और यूक्रेन का युद्ध शुरू होने के बाद से अब तक भारत में लगभग 17 देशों के 20 प्रधानमंत्री, विदेश मंत्री और विदेश सचिव स्तर के अधिकारी भारत आ चुके हैं। इस दौरान जापान के पीएम फुमियो किशिदा के अलावा 8 देशों के विदेश मंत्री और उप विदेश मंत्री भारत आए।

वहीं पिछले 15 मार्च 2022 से 31 मार्च 2022 के बीच रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव, ब्रिटेन की विदेशमंत्री एलिजाबेथ ट्रस, भारत कनाडा के डिप्टी फॉरेन अफेयर मिनिस्टर मार्टा मॉर्गन, ऑस्ट्रिया के विदेश मंत्री अलेक्जेंडर शालेनबर्ग, अमेरिका के डिप्टी एनएसए और बाइडन के पसंदीदा अधिकारी दलीप सिंह, ग्रीस के विदेश मंत्री निकोस डेंडियास, मैक्सिको के विदेश मंत्री मासेर्लो एब्रार्ड कैसाबोन, ओमान के विदेश मंत्री सैयद बदर बिन हमद अल बुसैदी, चीन के विदेश मंत्री वांग यी, श्रीलंका के विदेश मंत्री बासिल राजपक्षे भी भारत आए।

ग्लोबल पॉलिटिक्स में क्यों अहम है भारत?

इस बारे में विदेश मामलों के जानकार का कहा कि भारत ग्लोबल पॉलिटिक्स में एक धुरी यानी केंद्र बनकर सामने आया है। रूस और यूक्रेन दोनों ही देश चाहता है कि भारत का समर्थन उनको मिले। साथ ही उन्होंने भारत के ग्लोबल पॉलिटिक्स में अहम बनने की दो वजह बताई हैं। पहली: भारत यूनाइटेड नेशन में 2022 तक अस्थाई सदस्य है। ऐसे में सभी देश चाहते हैं कि भारत उनके पक्ष में खुलकर न भी रहें तो कम से कम विरोध तो नहीं ही करे। दूसरी: दक्षिण एशिया में ताकतवर देश और दुनिया का सबसे बड़ा बाजार होने की वजह से हर देश के लिए भारत जरूरी है।

किस नई नीति से भारत को मिली सफलता?

बताया जा रहा है कि भारत अब गुटनिरपेक्षता की बजाय मल्टी अलाइमेंट की नीति पर काम कर रहा है। उन्होंने कहा कि गुटनिरपेक्षता का मतलब है कि भारत रूस और अमेरिका दोनों से समान दूरी बनाएगा। वहीं, मल्टी अलाइमेंट का मतलब हुआ कि भारत किसी मुद्दे के आधार पर किसी देश के करीब जाएगा या उससे दूरी बनाएगा। यही कारण है कि युद्ध में भारत की मल्टी अलाइमेंट विदेश नीति काफी हद तक सफल हो रही है। इसकी वजह से भारत दुनिया का एकलौता ऐसा ताकतवर देश है, जो रूस और अमेरिका दोनों से नजर मिलाकर बात कर रहा है।

Why Is The Foreign Minister Running For India?  (Russia Ukraine War India Update)

भारत पर चीन हमला करेगा तो रूस बचाने नहीं आएगा: अमेरिका

US Deputy NSA Daleep Singh

31 मार्च 2022 को अमेरिका के डिप्टी एनएसए और बाइडन के पसंदीदा अधिकारी दलीप सिंह (US Deputy NSA Daleep Singh) दो दिवसीय दौरे पर भारत आए थे। इस दौरान उन्होंने रूस पर लगाई गई पाबंदियों और उसके असर को लेकर भी बातचीत की। उन्होंने कहा अगर भारत पर चीन हमला कर देगा तो बचाने के लिए रूस नहीं आएगा। इसके साथ ही उन्होंने रूस पर लगी पाबंदी में भारत से साथ देने की अपील की है। साथ ही दलीप सिंह ने इंडो पैसिफिक में क्वार्ड गठबंधन को और ज्यादा मजबूत करने पर बल दिया है।

भारत जो कुछ चाहेगा रूस देगा: लावरोव

Russian Foreign Minister Sergei Lavrov

31 मार्च 2022 को रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव (Russia Sergei Lavrov) अपने दो दिवसीय दौरे पर भारत आए थे। इस दौरान लावरोव ने कहा कि ‘मैं सोच भी नहीं सकता हूं कि भारत की विदेश नीति कभी किसी तरह के दबाव में आएगी। भारत की विदेश नीति आजाद है। भारत हमेशा से देशहित के आधार पर फैसला लेता है।’ भारत जो कुछ भी चाहेगा रूस भारत को देने के लिए तैयार है। बता दें कि रूस-यूक्रेन युद्ध के बीच लावरोव का दौरा अंतराष्ट्रीय राजनीति और कूटनीति के लिहाज से खास माना जा रहा है।

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ब्रिटेन भारत के फैसले का सम्मान करता है: एलिजाबेथ ट्रस

British Foreign Secretary Elizabeth Truss

31 मार्च 2022 को ब्रिटेन की विदेशमंत्री एलिजाबेथ ट्रस भारत आईं थीं। इस दौरान एलिजावेथ ट्रस ने रूस से तेल खरीदने के मामले में कहा कि, ब्रिटेन भारत के फैसले का सम्मान करता है। उन्होंने कहा कि भारत एक संप्रभु राष्ट्र है, ऐसे में मैं यह बताने नहीं जा रही हूं कि इसे क्या करना चाहिए। इसके साथ ही ट्रस ने कहा कि ब्रिटेन रूस पर पाबंदी लगाने की वकालत करता है। बता दें अप्रैल माह में ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन की यात्रा से पहले ट्रस एक एक दिवसीय दौरे पर भारत में थीं।

भारत-चीन आपस में खतरा नहीं: वांग यी

Chinese Foreign Minister Wang Yi

चीन के विदेश मंत्री वांग यी 25 मार्च 2022 को भारत के दौरे पर आए थे। इस दौरान उन्होंने विदेश मंत्री समेत कई बड़े अधिकारियों से मुलाकात की। इस मौके पर चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने कहा कि चीन और भारत दोनों एक दूसरे के लिए खतरा नहीं हैं। हमें मिलकर आपसी मतभेद को दूर करना चाहिए। उन्होंने कहा कि भारत और चीन एक दूसरे के कंपीटिटर नहीं बल्कि भागीदार हैं, इसलिए आगे बढ़ने के लिए एक दूसरे को मदद करना चाहिए।

हिंद-प्रशांत में मिलकर काम करने की आवश्यकता: जापान के पीएम

Japan Prime Minister Fumio Kishida

22 मार्च 2022 को अपने दो दिवसीय दौरे पर जापान के प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा भारत आए थे। इस दौरान उन्होंने भारत में 3.2 लाख करोड़ रुपए के निवेश की घोषणा की थी। जापान के प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा ने भारत में बड़े निवेश के ऐलान के साथ कहा कि भारत और जापान को मुक्त व स्वतंत्र हिंद-प्रशांत क्षेत्र के लिए मिलकर काम करना चाहिए। इस क्षेत्र में किसी भी तरह से यथास्थिति में बदलाव के प्रयास को रोका जाना चाहिए।

Russia Ukraine War India Update

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