(इंडिया न्यूज़, Shraddha Walker Murder case): दिल्ली के छतरपुर में हुए श्रद्धा वॉकर मर्डर केस की हर तरफ चर्चा है। श्रद्धा जिस खतरनाक कातिल आफताब अमीन पूनावाला को अपने सपनों का राजकुमार समझती है, उसके साथ शादी करना चाहती थी, लेकिन वो कातिल अपनी प्रेमिका के लिए हैवान निकला। उसने अपनी प्रेमिका श्रद्धा के छोटे-छोटे 35 टुकड़े करके जंगल में फेंक दिया।

लेकिन आफताब के सोशल मीडिया एकाउंट्स देखने से पता चलता है कि वो खुद को एक प्रगतिशील लड़के के तौर पर पेश करता था। इसमें फेमिनिस्ट की बातें, LGBTQIA+ हकों का ‘समर्थन’ करता था।

पुलिस के मुताबिक, श्रद्धा विकास वॉकर (26 साल) और आफताब पूनावाला (28 साल) की मुलाकात साल 2019 में एक डेटिंग ऐप के जरिए हुई थी। उस समय ये दोनों मुंबई में अपने परिवार के साथ रहते थे। आरोप है कि डेटिंग ऐप पर दोस्ती होने के बाद आफताब ने श्रद्धा से कई बड़े-बड़े वादे किए और ये कहा कि अगर उसके परिवार को उन दोनों का रिश्ता मंजूर नहीं है तो वो उसके लिए अपना घर छोड़ने को भी तैयार है और दोनों मुंबई से दूर किसी दूसरे शहर में चले जाएंगे।

29 नवंबर 2014 को आफ़ताब ने लॉजिकल इंडियन वेबसाइट की एक पोस्ट शेयर की थी। तस्वीर में एक महिला की पीठ पर ढेर सारी चिप्पियां लगी हुई हैं और कैप्शन में लिखा है, “महिलाएं लेबल्स के साथ पैदा नहीं होतीं।”

28 जून 2015 को आफ़ताब ने अपनी फ़ेसबुक की प्रोफ़ाइल पिक्चर में बदलाव किए थे, जिसमें LGBTQIA+ का प्राइड फ़िल्टर लगाया था. प्राइड का मतलब लेस्बियन, गे, बाई-सेक्शुअल, ट्रांसजेंडर के गौरव और आंदोलनों का प्रतीक।

2015 में ही दिवाली पर पटाखे न फोड़ने की अपील की थी। एक ऐसिड अटैक विक्टिम को सपोर्ट किया था।

फ़ेसबुक पर ये पोस्ट्स और तस्वीरें ख़ूब वायरल हो रही हैं। आफ़ताब ने कथित तौर पर पुलिस को बताया कि वो अमेरिकी टेलीविजन क्राइम सीरीज़ के एक किरदार ‘डेक्सटर’ से प्रेरित था। डेक्सटर एक सीरियल किलर है, जो हत्या के बाद शवों को काटता था.