Startups need Sanjeevani
इंडिया न्यूज़,नई दिल्ली:
. कोरोना काल के दौरान स्टार्टअप के सामने कई चुनौतियां
. तकनीक के साथ डिजिटल बदलाव की जरूरत
. बेरोजगारी दूर कर सकते हैं स्टार्टअप
. यूनिकॉर्न के मामले में भारत विश्व का तीसरा देश
. एफडीआई पर मिले छूट
. बुनियादी ढांचे को मजबूती देने के लिए हो कार्य
Startups need Sanjeevani आज देश का बजट पेश होने जा रहा है। इस बजट से नया स्टार्टअप(Startups) शुरू करने वाले छोटे उद्यमियों को काफी उम्मीदें हैं। गत वर्ष में घरेलू स्टार्टअप ने बेहतर प्रदर्शन करके दिखाया है। इस दौरान स्टार्टअप ने न सिर्फ निवेशकों का विश्वास हासिल किया है बल्कि एक ही साल में इन्होंने फंडिंग 3 गुना से अधिक बढ़ा ली है। विशेषज्ञों के अनुसार भारत यूनिकॉर्न के मामले में दुनिया में तीसरे नंबर पर पहुंच चुका है।


Startups need Sanjeevani
आर्थिक तंगी से जूझ रहे स्टार्टअप Startups need Sanjeevani
जानकारों के अनुसार देश में कई स्टार्टअप ऐसे हैं जो आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं। उन्हें मार्केट में बने रहने के लिए पूंजी की जरूरत है। क्योंकि कोरोना(Corona) के चलते यह स्टार्टअप नई चुनौतियों से लड़ रहे हैं। ऐसे में उन्हें उम्मीद है कि इस बजट में उनके लिए कुछ राहत मिले तो भविष्य के लिए अच्छा हो।
Startups need Sanjeevani
स्टार्टअप से बेरोजगारी दूर होने की संभावनाएं Startups need Sanjeevani
बता दें कि गत वर्ष देश में कई छोटे-बड़े स्टार्टअप शुरू हुए और बेहतर प्रदर्शन करके भी दिखाया। कंप्टिशन (competition) के दौर में नई तकनीक और डिजिटल बदलाव करने की अधिक जरूरत है। लेकिन अब महामारी के चलते यह तंगी से जूझ रहे हैं। इनका कहना है कि अगर बजट में हमारे लिए कुछ राहत मिलती है तो इससे हम अपने कार्य में और तेजी लाएंगे। जिससे रोजगार के अवसर पैदा होंगे और बेरोजगारी भी दूर होगी।
Startups Need Sanjeevni
एफडीआई पर टैक्स में मिले छूट Startups need Sanjeevani
एक तरफ जहां स्टार्टअप इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूती देने की जरूरत है वहीं प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) में टैक्स छूट की भी आवश्यकता है। इस तरह का कदम उठाने से भारतीय स्टार्टअप्स विश्व स्तर पर अपनी पहचान बना सकते हैं। वहीं टैक्स में छूट मिलने से यह वैश्विक प्रतिद्वंद्वियों से भी मुकाबला कर सकते हैं।
Startups Need Sanjeevni
बुनियादी ढांचे के लिए हो प्रोत्साहन Startups need Sanjeevani
देश में आज भी कई स्थान ऐसे हैं जहां लोग मूलभूत सुविधाओं मिलने की आस लगाए बैठे हैं। खासकर पेयजल मुहैया करवाना एक ऐसा प्रोजेक्ट है जिसे सार्थक करना अति आवश्यक है। ऐसे में इस तरह की बुनियादी समस्याओं से निजात पाने के लिए शुरू हुए स्टार्टअप को प्रोत्साहन मिलना चाहिए। इन पर लगने वाले जीएसटी और अन्य करों पर गौर फरमाते हुए इनमें रियायत देनी चाहिए।
Startups Need Sanjeevni
Connect With Us : Twitter Facebook