India News (इंडिया न्यूज़), Geetika Sharma suicide, दिल्ली: राउज एवेन्यू कोर्ट ने मंगलवार को एयर होस्टेस गीतिका शर्मा आत्महत्या मामले में हरियाणा के पूर्व मंत्री गोपाल गोयल कांडा और एक अन्य को बरी कर दिया। विशेष न्यायाधीश विकास ढुल ने मंगलवार को फैसला सुनाया और दोनों आरोपियों गोपाल गोयल कांडा और अरुणा चड्ढा को सभी आरोपों से बरी कर दिया। फैसले के बाद गोपाल कांडा ने खुशी जाहिर करते हुए कहा कि मेरे खिलाफ कोई सबूत नहीं था, मेरे खिलाफ ये केस बनाया गया था और आज कोर्ट ने अपना फैसला सुना दिया है।

क्या है मामला?

गीतिका शर्मा एक एयरहोस्टेस थी जो कांडा की एमडीएलआर एयरलाइंस में काम करती थी। गीतिका शर्मा 5 अगस्त 2012 को उत्तर पश्चिम दिल्ली के अशोक विहार स्थित अपने घर में मृत पाई गई थी। उस वक्त गीतिका की उम्र सिर्फ 23 साल थी। घर से एक सुसाइड नोट भी मिला जिसमें आरोपी गोपाल कांडा और सह-आरोपी अरुणा चड्ढा को उसकी मौत के लिए जिम्मेदार बताया गया। पत्र में आरोप लगाया था कि वह कांडा और चड्ढा के ‘उत्पीड़न’ के कारण अपनी जिंदगी खत्म कर रही है।

दिल्ली पुलिस ने 5 अगस्त 2012 को कांडा और चड्ढा के खिलाफ मामला दर्ज किया था, मामला दर्ज होने के बाद कांडा को हरियाणा के गृह राज्य मंत्री के पद से इस्तीफा देने के लिए मजबूर होना पड़ा।पुलिस ने चड्ढा को 8 अगस्त 2012 को गिरफ्तार किया था, जबकि कांडा ने 18 अगस्त की सुबह अशोक विहार पुलिस स्टेशन में आत्मसमर्पण कर दिया था। हालांकि उन्हें मार्च 2014 में दिल्ली उच्च न्यायालय द्वारा इस आधार पर नियमित जमानत दे दी गई थी वही उनके सहयोगी चड्ढा को फरवरी 2014 में जमानत पर रिहा कर दिया गया था।

कौन है गोपाल कांडा

गोपाल कांडा ने हरियाणा लोकहित पार्टी के नाम से अपना सियासी दल बना रखा है। 2019 के विधानसभा चुनाव में कांडा ने सिरसा विधानसभा सीट से अपनी पार्टी के टिकट से जीत दर्ज की थी। वह फिलहाल हरियाणा की बीजेपी-जेजेपी सरकार को अपना समर्थन दे रहे है। कांडा का परिवार सिरसा जिले के बिलासपुर गांव का रहने वाला है। शुरू में उन्होंने जूते-चप्पले का व्यापार किया और फैक्ट्री खोली। 90 के दशक में गुरुग्राम में रियल स्टेट का बिजनेस शुरू किया। पिता के नाम पर एयरलाइंस कंपनी बनाई जो 2009 में बंद हो गई।

साल 2009 में हरियाणा विधानसभा का चुनाव हुआ। कांग्रेस को 90 में से 40 सीटें मिली। लोकदाल से कांडा ने टिकट मांगा जो मिला नहीं, वह निर्दलीय लड़े और जीते। भूपेंद्र सिंह हुड्डा की सरकार ने कांडा को अपने खेमे में कर लिया। हुड्डा सीएम बने और कांडा को हरियाणा का गृह राज्यमंत्री बना दिया गया। यही नहीं कांडा को शहरी निकाय, उद्योग और वाणिज्य जैसे विभाग भी मिले।

यह भी पढ़े-