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एन्क्रिप्शन हटाने पर किया मजबूर तो छोड़ देंगे भारत, जानें Whatsapp ने दिल्ली HC को क्यों दी ये चेतावनी-Indianews

Shubham Pathak • LAST UPDATED : April 26, 2024, 8:31 am IST

India News (इंडिया न्यूज),Whatsapp: दुनिया के अग्रणी इंस्टेंट-मैसेजिंग प्लेटफॉर्म व्हाट्सएप ने गुरुवार को दिल्ली उच्च न्यायालय को चेतावनी देते हुए कहा कि, अगर उसे संदेशों और कॉल के एन्क्रिप्शन को तोड़ने के लिए मजबूर किया गया तो कंपनी भारत छोड़ देगी। जहां व्हाट्सएप के वकील ने दिल्ली उच्च न्यायालय की एक पीठ को बताया, जो संशोधित सूचना-प्रौद्योगिकी नियमों के खिलाफ कंपनी की याचिका पर सुनवाई कर रही थी, “एक मंच के रूप में, हम कह रहे हैं, अगर हमें एन्क्रिप्शन तोड़ने के लिए कहा जाता है, तो व्हाट्सएप भारत छोड़के चला जाएगा।

व्हाट्सएप का बड़ा दावा

व्हाट्सएप ने आईटी नियमों में संशोधन का विरोध करते हुए दावा किया कि नियम बिना परामर्श के पेश किए गए हैं। इसमें कहा गया कि वे यूजर्स की निजता के खिलाफ हैं। व्हाट्सएप की ओर से पेश तेजस करिया ने अदालत को बताया कि लोग मोबाइल एप्लिकेशन का उपयोग इसकी गोपनीयता सुविधाओं के लिए करते हैं। इसके साथ ही फर्म ने तर्क दिया कि नियम अनुच्छेद 14, 19 और 21 के तहत उपयोगकर्ताओं के मौलिक अधिकारों का उल्लंघन करते हैं।

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नए नियमों को दिया चुनौती

मिली जानकारी के अनुसार, वकील ने दावा किया कि दुनिया में कहीं और ऐसा कोई नियम मौजूद नहीं है। उन्होंने कहा कि व्हाट्सएप को एक “पूरी श्रृंखला” रखनी होगी क्योंकि उसे पता नहीं चलेगा कि किस संदेश को डिक्रिप्ट करने की आवश्यकता होगी। टीओआई के अनुसार, उन्होंने कहा, “इसका मतलब है कि लाखों-करोड़ों संदेशों को कई वर्षों तक संग्रहीत करना होगा। फेसबुक और व्हाट्सएप ने नए नियमों को चुनौती देते हुए अदालत का रुख किया है और कहा है कि ये निजता के अधिकार का उल्लंघन हैं।

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याचिका का किया विरोध

केंद्र सरकार के इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (एमईआईटीवाई) ने दोनों कंपनियों की याचिका का विरोध करते हुए कहा है कि व्हाट्सएप ने उपयोगकर्ताओं को विवाद समाधान के लिए किसी भी तंत्र से वंचित करके मौलिक अधिकार का उल्लंघन किया है। मंत्रालय ने दिल्ली उच्च न्यायालय को बताया है कि यदि नियम लागू नहीं किए गए, तो कानून प्रवर्तन एजेंसियों को फर्जी संदेशों की उत्पत्ति का पता लगाने में कठिनाई होगी। इसमें कहा गया है कि ऐसा संदेश देश में शांति और सद्भाव को बिगाड़ सकता है और सार्वजनिक व्यवस्था के मुद्दे पैदा कर सकता है। जानकारी के लिए बता दें कि, इससे पहले व्हाट्सएप ने अपने बयान में कहा था कि नियमों का पालन करने से गोपनीयता का उल्लंघन होगा।

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