India News (इंडिया न्यूज),Chhath Puja 2023: वैसे तो महिलाएं अपनी मांग में अनुमन हर दिन ही सिंदूर भरती है। लेकिन छठ के दौरान आपने अक्सर देखा होगा कि इस दौरान महिलाएं नाक से लेकर अपनी पूरी मांग भरती हुई नजर आती है। ऐसे में हर कोई इसके पीछे की वजह जानने के लिए उस्तुक रहते है। आइये जानते हैं इसके पीछे की वजह।

सुहाग की निशानी

सिंदूर को हमेशा से सुहाग की निशानी के तौर पर माना जाता रहा है। छठ पूजा के दौरान महिलाएं नाक से लेकर अपनी पूरी मांग को भरती है। इसके पीछे की मुख्य वजह यह है कि शुरू से ही यह माना जाता रहा है कि महिलाएं अपनी मांग में जितना लंबा सिन्दूर लगाती हैं, उनके पति की उम्र उतनी ही लंबी होती है। इसलिए इस दौरान महिलाएं नाक से लेकर अपनी पूरी मांग भरती हैं।

बेहद शुभ है लंबा सिंदूर

हम सभी जानते हैं कि महिलाएं अपनी संतान के लिए छठ का व्रत रखती हैं। लेकिन छठ व्रत के दौरान महिलाएं अपने पति और संतान दोनों के लिए लंबी उम्र और अच्छे स्वास्थ्य की कामना करती हैं। लम्बा सिन्दूर पति के लिए बहुत ही शुभ माना जाता है। इसलिए मान्यतां है कि सिंदूर को माथे से लेकर जितनी लंबी मांग हो उतना लंबा भरा जाना चाहिए।

श्रृंगार का है विशेष महत्व

छठ पूजा के दौरान श्रृंगार को लेकर भी विशेष महत्व है। जो महिलायें इस व्रत को करती है उन्हें व्रत के दौरान पुरे दिन अच्छे से तेयार होके रहना चाहिए। इसी श्रृंगार का एक हिस्सा है नाक से लेकर माथे तक पूरी मांग को भरना।

Also Read:

Israel Hamas War: गाजा के अस्पताल में तबाही, ICU में भर्ती सभी मरीजों की मौत

Chhath Puja 2023: आज है छठ महापर्व का दूसरा दिन, ये है खरना का मुहूर्त और नियम