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Congress Manifesto: कांग्रेस ने जारी किया घोषणा पत्र, जातिगत जनगणना के अलावा जनता को दी कई गारेंटी

Shubham Pathak • LAST UPDATED : July 22, 2024, 9:00 pm IST

India News(इंडिया न्यूज),Congress Manifesto: कांग्रेस ने आगामी लोकसभा चुनाव के लिए आज यानी शुक्रवार को अपना घोषणापत्र जारी किया, जिसमें बेरोजगारी पर ध्यान केंद्रित किया गया है, सामाजिक आर्थिक जाति जनगणना का वादा किया गया है।

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जातिगत जनगणना पर दाव

 

वहीं घोषणा पक्पाष को लेकर पार्टी ने कहा है कि, अगर वह सत्ता में आती है, तो पार्टी “जातियों और उप-जातियों और उनकी सामाजिक-आर्थिक स्थितियों की पहचान करने के लिए” देशव्यापी जाति जनगणना कराएगी। कांग्रेस ने कहा कि आंकड़ों के आधार पर वह उन जातियों के लिए एजेंडे को मजबूत करेगी, जिन्हें सकारात्मक कार्रवाई की जरूरत है।

पांच न्याय और 25 गारंटी 

 

वहीं लगातार चल रहे पांच न्याय और 25 गांरटी की योजना से पर्दा उठाते हुए कांग्रेस ने घोषणा पत्र जारी किया। जहां अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने नई दिल्ली में अखिल भारतीय कांग्रेस समिति मुख्यालय में घोषणापत्र जारी किया। पार्टी ने अपने घोषणापत्र को न्याय पत्र का नाम दिया है। जानकारी के लिए बता दें कि, घोषणापत्र ‘पांच न्याय और 25 गारंटी’ पर आधारित है। यह पांच न्याय ‘हिस्सेदारी न्याय’, ‘किसान न्याय’, ‘नारी न्याय’, ‘श्रमिक न्याय’ और ‘युवा न्याय’ हैं। घोषणा-पत्र में 30 लाख सरकारी नौकरियां देने का वादा भी किया गया है।

कांग्रेस का नया दाव

 

कांग्रेस अपने घोषणापत्र में पांच न्याय पर जोर देगी, जिसमें ‘युवा न्याय’, ‘नारी न्याय’, ‘किसान न्याय’, ‘श्रमिक न्याय’ और ‘हिस्सेदारी न्याय’ के साथ-साथ लोगों से की गई गारंटी भी शामिल होगी। लोकसभा चुनावों के लिए उसके चुनावी वादों का हिस्सा। जानकारी के लिए बता दें कि, पहली बार, कांग्रेस 2024 के लोकसभा चुनावों के लिए अपने चुनावी घोषणा पत्र के हिस्से के रूप में युवाओं को ‘रोजगार का अधिकार’ देने का भी वादा करेगी।

 

पेपर लीक के मामले पर प्रकाश

 

वहीं घोषणापत्र में कांग्रेस से देश में पेपर लीक के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त कानून और सजा का प्रस्ताव करने और सरकारी भर्ती में पारदर्शिता लाने के उपाय सुझाने की उम्मीद है। कांग्रेस के घोषणापत्र में देश में न्यूनतम समर्थन मूल्य और जाति-आधारित जनगणना की कानूनी गारंटी पर भी ध्यान केंद्रित होने की संभावना है। वहीं पार्टी से अपेक्षा की जाती है कि वह समाज के हाशिए पर रहने वाले वर्गों को वित्तीय सहायता प्रदान करने और यह सुनिश्चित करने जैसे कल्याणकारी उपायों पर जोर देगी कि उन्हें न्याय मिले और राज्य कल्याण उपायों का हिस्सा बनें।

 

सरकारी कर्मचारी की बातें

 

इसके साथ ही खबर ये भी सामने आ रही है कि, कांग्रेस लोकसभा चुनाव के लिए अपने घोषणापत्र में सरकारी कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना के वादे को खारिज कर सकती है। पार्टी ने विधानसभा चुनावों से पहले एक मजबूत चुनावी पिच बनाई थी और जिन राज्यों में वह सत्ता में आई, वहां उसने इसे वापस कर दिया। वकांग्रेस के घोषणापत्र में धन शोधन निवारण अधिनियम, 2002 को खत्म करने का भी वादा किया जाएगा, जिसका दायरा नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार ने 2015 और 2019 में संशोधनों के माध्यम से प्रवर्तन निदेशालय को मजबूत किया था।

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ये बड़े नेता रहे मौजूद

 

वहीं घोषणापत्र कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने जारी किया, जहां नई दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में वरिष्ठ नेता सोनिया गांधी, राहुल गांधी और पी चिदंबरम भी मौजूद थे।

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