इंडिया न्यूज़, Symptoms Of Lung Inflammation : फेफड़ों में होने वाली सूजन से आपको कई तरह की परेशानी का सामना करना पड़ता है कि फेफड़ों में सूजन से दमा की बीमारी हो जाती है। ये काफी खतरनाक बीमारी होती है जो जानलेवा भी हो सकती है। फेफड़े (Lungs) हमारे शरीर का महत्वपूर्ण अंग हैं।
जब भी इंसान सांस लेता है तो हर सांस के साथ जितनी ज्यादा ऑक्सीजन शरीर के अंदर पहुंचती है। हमारे फेफड़े जितने स्वस्थ्य होंगे, शरीर उतना ही सेहतमंद बना रहता है। लेकिन कोरोना काल में सबसे ज्यादा खतरा फेफड़ों पर ही मंडरा रहा है। फेफड़ों में होने वाली सूजन (Swelling in Lungs) के बारे में जिससे आपको कई तरह की परेशानी झेलनी पड़ती है।
फेफड़ों में सूजन के लक्षण अचानक दिखाई दे सकते हैं या समय के साथ विकसित हो सकते हैं। इसके लक्षण फुलाव होने पर निर्भर करते हैं। आमतौर पर इसके लक्षणों में सांस में कठिनाई, सांस की अत्यधिक कमी, घुटन या डूबने की भावना होना, थूक वाली खांसी, खांसी में खून, सांस लेते समय घबराहट या हांफना, ठंडी, रूखी त्वचा, चिंता, बेचैनी और अनियमित महसूस होने लगती है। इस तरह के लक्षण होने लगते है।
फेफड़ों की सेहत के लिए यह बहुत जरूरी होता है। पानी से फेफड़े हाइड्रेट (गीले) बने रहते और फेफड़ों की गंदगी इसी गीलेपन की वजह से बाहर निकल पाती है और फेफड़े सेहतमंद बने रहते हैं तो आपको ज्यादा से ज्यादा पानी का सेवन करना चाहिए।
इसमें एलिसिन नाम का तत्व पाया जाता है ये सूजन व जलन कम करता है और इन्फेक्शन को दूर करने में मदद करता है। ये फेफड़ों में घुसे प्रदूषक कणों को खत्म कर देता है। दमा में लहसुन का सेवन लाभकारी होता है। फेफड़े कैंसर में भी ये बहुत लाभकारी होता है।
फैटी एसिड पूरे शरीर की सेहत के लिए बहुत जरूरी हैं कि ये दमा में भी बहुत लाभकारी है। यह आपको अखरोट, बींस, दूध से बनी चीजों और अलसी के बीजों से मिलेगा। इन चीजों का सेवन जरूर करें।
धूम्रपान का सेवन न करें, क्योंकि इसी वजह से फेफड़े खराब होने के लक्षण होते है और जल्दी खराब हो जाते है वातावरण में मौजूद एलर्जी से बचें क्योंकि वे आपके फेफड़ों को परेशान कर सकते हैं। यदि संभव हो, तो उन दिनों पर बाहर न निकलें जब यह बहुत ठंडा या बहुत गर्म होता है क्योंकि यह आपके फेफड़ों को परेशान कर सकता है।
शराब और ड्रग्स जैसे का सेवन करने सेआपको दमा का कारण बन सकती हैं, बल्कि इसके लक्षणों को भी खराब कर सकती हैं। यदि आपको सांस फूलने की बीमारी है। तो आपको इन सभी पदार्थों को छोड़ देना चाहिए।
भारी एक्सरसाइज को (पल्मोनरी एडिमा) यानि सांस फूलने की बीमारी के लक्षणों को बढ़ाने के लिए जाना जाता है। यदि आप दिन भर शारीरिक गतिविधियों में बिजी रहते हैं, तो सुनिश्चित करें कि आपको अपने श्वसन तंत्र को आराम देने के लिए हर घंटे के बाद आराम मिले। यदि आप पहले से ही इस रोग से पीड़ित हैं तो आपको शारीरिक गतिविधियों से बचना या कम करना है।
निष्कर्ष : फेफड़ों में सूजन होने पर आप इन घरेलू उपचार को करें। आपको बहुत फायदे होगा।
Disclaimer : इन उपचार को भी अपनाकर देखना चाहिए और डॉक्टर की सलाह भी लें। इन घरेलू नुस्खों पर ही आधारित न रहें।
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