India News (इंडिया न्यूज), Rajasthan News: राजस्थान के जालौर जिले के सांचौर क्षेत्र में पिछले दो दिनों से पैंथर की दहशत बनी हुई थी। ग्रामीण खौफ के साये में जी रहे थे, लेकिन वन विभाग की टीम ने लगातार रेस्क्यू ऑपरेशन चलाकर 24 घंटे बाद पैंथर को पिंजरे में कैद करने में सफलता हासिल की।
मौनी अमावस्या पर बने ये महासंयोग, चमकेगी सोई किस्मत, कर लोगे जो ये 5 काम, दूर हो जाएगी दरिद्रता!
गुजरात से आया था पैंथर
बताया गया है कि, रानीवाड़ा क्षेत्रीय वन अधिकारी मनोहर खान ने बताया कि दो दिन पहले गुजरात से एक पैंथर के सांचौर में प्रवेश करने की सूचना मिली थी। ग्रामीणों ने पलादर, बड़सम, हाड़ेतर और किलुपिया गांव में पैंथर को घूमते हुए देखा और वन विभाग को जानकारी दी। ऐसे में, पहले दिन सफलता नहीं मिली। इसके बाद, पैंथर के देखे जाने की खबर फैलते ही ग्रामीणों की भीड़ उमड़ पड़ी। वन विभाग की टीम ने मौके पर पहुंचकर जोशपुर से विशेष रेस्क्यू टीम को बुलाया। दूसरी तरफ, टीम ने पैंथर को पकड़ने के लिए खेतों में जाल बिछाया और ट्रैंकुलाइज करने की कोशिश की, लेकिन पैंथर चतुराई दिखाते हुए सरसों के खेत में गायब हो गया। अंधेरा होने के कारण पहले दिन रेस्क्यू ऑपरेशन रोकना पड़ा।
दूसरे दिन पकड़ा गया पैंथर
बता दें, अगली सुबह वन विभाग की टीम ने पैंथर के पगमार्क का पीछा करते हुए अरणाय सरहद के गुड़ावाड़ी क्षेत्र में पिंजरा लगाया। 24 घंटे बाद पैंथर पिंजरे में कैद हो गया। इससे ग्रामीणों ने राहत की सांस ली। इसके अलावा, वन विभाग की सतर्कता से सफलता, साथ ही वन विभाग की टीम ने दो दिन तक लगातार अभियान चलाया, जिससे ग्रामीणों को सुरक्षित रखा जा सका। अब पैंथर को जंगल में सुरक्षित स्थान पर छोड़ा जाएगा। इस सफल रेस्क्यू ऑपरेशन के लिए वन विभाग की टीम की सराहना की जा रही है।
महाकुंभ में भगदड़ के बाद स्थिति सामान्य, त्रिवेणी संगम में आस्था की डुबकी लगाते दिखे श्रद्धालु