We Women Want in Delhi: वी वीमन वांट का पहला संस्करण मुंबई में हुआ था। आज दूसरा संस्करण दिल्ली के ताज वीवांता होटल में हो रहा है। दिल्ली कार्यक्रम के पहले सत्र में चांदनी चौक की पूर्व विधायक और कांग्रेस नेता अलका लांबा और बीजेपी नेता डॉ टीना शर्मा पहुंची। अलका लांबा ने महिलाओं को समर्पित इस कार्यक्रम के लिए आई टीवी नेटवर्क का धन्यवाद दिया। अलका लांबा ने कहा कि मुझे राजनीति में 30 साल हो गए हमने कई उतार चढ़ाव देखा है और आज भी संघर्ष जारी है।
अलका लांबा ने आगे कहा कि 25 साल कांग्रेस 5 साल आम आदमी पार्टी में फिर मैंने कांग्रेस में घर वापसी की। कांग्रेस लोकतंत्र का सबसे बड़ा मंच है। पंचायती राज में कांग्रेस ने महिलाओं को आरक्षण दिया, नगर निगम में कांग्रेस ने महिलाओं को आरक्षण दिया है। लेकिन मोदी सरकार में 9 साल हो चुके है अब तक महिला आरक्षण बिल अब तक लोकसभा में नहीं आय़ा। राजनीतिक, आर्थिक और समाजिक तौर पर अभी महिलाओं का हक उन्हें मिला नहीं है।
कपड़ा चुनना अधिकार
बीजेपी सरकार के महिला अधिकारों पर किए गए कामों पर अलंका लांबा ने कहा कि विपक्ष में रहते हुए मेरा यह धर्म है कि मै महिलाओं के लिए आवाज उठाऊं। महिला दिवस के दिन संविधानिक पद पर बैठा एक सांसद महिला से कहता है कि आपने बीन्दी क्यों नहीं लगाई? यह मेरा अधिकार है कि मैं क्या पहनाना है।
2010 में पास नहीं था बहुमत
बीजेपी नेता टीना शर्मा ने कहा कि राजनीति हो या काई भी क्षेत्र हो महिलाओं को चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। खासकर जब वह प्रतिभावान होती है। मुझे लगता है कि गिरना, उठना फिर उठना यह महिलाओं को मजबूत बनाता है। जब निर्भया गैंगरेप हुआ था तब सभी महिला नेता पार्टियों की बाधा छोड़ कर एक हो जाती है। टीना शर्मा ने पूछा कि जब कांग्रेस सरकार ने 2010 में लोकसभा में महिला आरक्षण बिल पेश किया फिर उसे पास क्यों उसे राज्यसभा से पास क्यों नहीं करवाया। यह जो दोहरे मापदंड है राजनीतिक पार्टियों के, 70 साल में कांग्रेस की सरकारों ने महिलाओं का क्या दिया है इसकी चर्चा करना भी जरुरी है।
एनडीए सरकार में अच्छे प्लेटफार्म
टीना शर्मा ने यह भी कहा कि हमारी सरकार ने महिलाओं के लिए बहुत कुछ किया है। हमारी बहुत सारी महिलाएं लोकसभा लड़ कर आई है। आज प्रधानमंत्री ने उस जंग को आसान किया है कि जहां स्मृती ईरानी अमेठी जाकर लोकसभा लड़ती है। एनडीए सरकार में महिलाओं के लिए कई सारे अच्छे प्लेटफार्म है। अलंका लांबा ने कहा कि हमारी सरकार में महिला आरक्षण बिल राज्यसभा से पास हुआ था लेकिन लोकसभा से पास नहीं हुआ था क्योंकि हमारे पास बहुमत नहीं था, आज सरकार के पास बहुमत है लेकिन नियत नहीं है।