इंडिया न्यूज, नई दिल्ली:
Pandora Papers का नाम लेते ही उन सभी के चेहरे आंखों के सामने घूमने लगते हैं, जिनका इसमें नाम शामिल होने की चर्चा रही हैं। इनमें सचिन तेंदुलकर, पॉप सिंगर शकीरा और ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री टोनी ब्लेयर समेत दुनियाभर के सैकड़ों सेलिब्रिटीज के निवेश का दावा किया जा रहा है। एक अंतरराष्ट्रीय संस्था की रिपोर्ट जारी हुई है। आज हम इस लेख में आपको इन विषयों की जानकारी देंगे। pandora papers leak indian names, pandora papers leak names list, panama papers leak indian name list, pandora papers indian names list, pandora papers indian politician name, pandora papers india list pdf, pandora papers indian politicians, pandora papers indian celebrities आशा है आपको यह लेख पसंद आएगा।
इसमें करीब 64 लाख दस्तावेज, 10 लाख ईमेल, 30 लाख से ज्यादा फोटो और पांच लाख स्प्रेडशीट लीक हैं। इनमें दावा किया गया है कि इन हस्तियों ने टैक्स बचाने और कुछ मामलों में मनी लांड्रिंग के लिए इस तरह के बेनामी निवेश हैं। इंटरनेशनल कंसोर्टियम आफ इन्वेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट्स की रिपोर्ट्स को पैंडोरा पेपर्स का नाम दिया जा रहा है।
पैंडोरा पेपर्स 14 ग्लोबल कॉर्पोरेट फर्म्स की 1 करोड़ 19 लाख लीक फाइलें हैं। इस लीक को पैंडोरा पेपर्स का नाम दिया गया है। इन फर्म्स ने करीब 29 हजार आफ-द-शेल्फ कंपनियां और प्राइवेट र्ट्स्ट बनाए। इन्हें टैक्स बचाने के लिए बनाया था। रिकॉर्ड छिपाने के लिए टैक्स हेवन देशों के साथ सिंगापुर, न्यूजीलैंड और अमेरिका जैसे देशों का भी इस्तेमाल किया गया। रिपोर्ट वॉशिंगटन के इंटरनेशनल कंसोर्टियम आफ इन्वेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट्स ने जारी की है।
इस लीक में 90 देशों के 330 लोगों के नाम हैं। इनमें रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन, जॉर्डन के राजा, अजरबैजान का एक रसूखदार परिवार, चेक रिपब्लिक के प्रधानमंत्री, केन्या के राष्ट्रपति के साथ पूर्व ब्रिटिन प्रधानमंत्री टोनी ब्लेयर तक का नाम है।
इस लीक में जिन भारतीयों का नाम है, उनमें सचिन तेंदुलकर सबसे बड़ा नाम हैं। सचिन के साथ उनकी पत्नी अंजली, ससुर आनंद मेहता, बिजनेसमैन अनिल अंबानी के साथ कुछ नेताओं के नाम भी शामिल हैं। इसके साथ ही नीरव मोदी, उनकी बहन, किरण मजूमदार शॉ जैसे बिजनेस पर्सन भी इस लिस्ट में हैं। साथ ही एक्टर जैकी श्रॉफ, गांधी परिवार से जुड़े सतीश शर्मा, कॉपोर्रेट लॉबिस्ट नीरा राडिया भी इसका हिस्सा हैं।
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पैंडोरा पेपर्स की जांच के बाद यह सामने आया है कि अमीरों ने ट्रस्ट्स के जरिए विदेश में अपनी वित्तीय लेन-देन की जानकारियां छिपाईं। इनमें से कई पहले से ही वित्तीय एजेंसियों की निगाह में हैं। इसकी 2 बड़ी वजहें हैं।
निवेश के लिए आफशोर कंपनियां खड़ी की गईं। आफशोर कंपनीज वो होती हैं, जिनका रजिस्ट्रेशन किसी दूसरे देश में किया जाता है और ये कारोबार किसी दूसरे देश में करती हैं। इन कंपनियों का रजिस्ट्रेशन ऐसे देशों में किया जाता है, जहां इन्हें बनाने में आसानी होती है, ऐसे कानून होते हैं जो कंपनी के मालिक की पहचान को उजागर करना मुश्किल कर देते हैं और कार्पोरेशन टैक्स कम होता है या बिल्कुल नहीं होता है। ऐसे देशों को टैक्स हैवंस कहा जाता है।
इस तरह की ज्यादातर कंपनियां गुमनाम होती हैं। इनका मालिक कौन है, किसके पैसे लगे हैं, जैसी सभी बातें गुप्त रखी जाती हैं। ये कंपनियां केवल कागजों पर होती हैं। इनका न कोई आफिस होता है न कर्मचारी।
बिजनेस के लिए आफशोर कंपनियां बनाना गैरकानूनी नहीं है, लेकिन अक्सर ऐसी कंपनियों का इस्तेमाल टैक्स की चोरी और मनी लॉन्ड्रिंग के लिए किया जाता है। इसलिए आशंका जताई जा रही है कि जिन लोगों का नाम इस लिस्ट में है, उनका उद्देश्य भी यही हो सकता है। साथ ही इस लिस्ट में कई ऐसे लोगों के नाम हैं, जो पब्लिक फिगर हैं और टैक्स चोरी और भ्रष्टाचार के खिलाफ कैंपेनिंग करते रहे हैं।
पैंडोरा पेपर्स से जुड़े पूरे डेटा को वॉशिंगटन के इंटरनेशनल कंसोर्टियम आफ इन्वेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट्स (कउकख) ने जारी किया है। कउकख दुनियाभर के 140 से ज्यादा मीडिया आगेर्नाइजेशंस के साथ मिलकर इस ग्लोबल इन्वेस्टिगेशन पर पिछले 2 साल से काम कर रहा था। पूरे इन्वेस्टिगेशन में दुनियाभर के 650 से ज्यादा पत्रकार शामिल थे।
आफशोर कंपनियों में निवेश की गई कुल रकम 417.32 लाख करोड़ रुपये से लेकर 2,384.44 लाख करोड़ तक हो सकती है। हालांकि ये केवल अनुमान है। अभी इन्वेस्टिगेशन जारी है इसलिए बस अनुमान ही लगाया जा सकता है।
पैंडोरा पेपर्स में भारतीयों का नाम आने के बाद भारत सरकार ने फैसला लिया है कि इस मामले की जांच करवाई जाएगी। यह जांच कई एजेंसियों का समूह मिलकर करेगा। इसकी अध्यक्षता केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड के चेयरमैन करेंगे। समूह में प्रवर्तन निदेशालय, भारतीय रिजर्व बैंक और वित्तीय खुफिया यूनिट के प्रतिनिधि भी शामिल होंगे।
इसी संस्था ने 5 साल पहले पनामा पेपर्स लीक किए थे। उनमें बताया गया था कि कैसे नामचीन हस्तियों ने कथित तौर पर सरकारी एजेंसियों की नजरों से दूर विदेश में संपत्तियां जुटाई थीं। पनामा पेपर्स में भी कई भारतीयों का नाम शामिल था। (Read More for: pandora papers leak indian names, pandora papers leak names list, panama papers leak indian name list, pandora papers indian names list, pandora papers indian politician name, pandora papers india list pdf, pandora papers indian politicians, pandora papers indian celebrities)
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