India News Uttarakhand(इंडिया न्यूज),Ramnagar News: राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर रामनगर में संयुक्त संघर्ष समिति द्वारा रामनगर में प्रदेश सरकार के खिलाफ नारेबाजी एवं प्रदर्शन करते हुए धरना दिया गया। राज्य आंदोलनकारीयों ने सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि उत्तराखंड की जनता ने जिस मकसद को लेकर उत्तराखंड राज्य की लड़ाई लड़कर इस राज्य को हासिल किया। तो वहीं पिछले 24 सालों में उत्तराखंड में सत्ता पर बैठने वाली कांग्रेस और भाजपा ने राज्य की अवधारणा को कुचलने का प्रयास करते हुए जनता की आवाज को दबाने का काम किया है।
मूलभूत सुविधाएं नहीं मिल पा रही?
आज उत्तराखंड में लोगों को ना तो शिक्षा और ना चिकित्सा जैसी मूलभूत सुविधाएं मिल पा रही है, तो वही बेरोजगारी और पलायन तेजी के साथ बढ़ने के साथ ही ग्रामीणों की फसले भी लगातार जंगली जानवर चौपट कर रहे हैं। लेकिन सरकार पूरी तरह मौन साध कर बैठी है। तो वहीं, उन्होंने मरचूला बस कांड में मारे गए 36 लोगों को श्रद्धांजलि भी अर्पित की। साथ ही उन्होंने कहा कि घटना के दिन प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी घायलों का हाल जानने के लिए रामनगर के सरकारी अस्पताल पहुंचे थे।
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स्वास्थ्य सुविधा पूरी तरह चौपट का लगया आरोप
पहाड़ों में तो स्वास्थ्य सुविधा पूरी तरह चौपट है। वहीं रामनगर के सरकारी अस्पताल की भी स्वास्थ्य सुविधाएं बदहाल है और उस दिन मुख्यमंत्री से लोग अस्पताल की समस्या को लेकर बात रखना चाहते थे लेकिन मुख्यमंत्री ने जनता की नहीं सुनी और वापस चले गए। जिस कारण लोगों को उनका विरोध करना पड़ा।
भाजपा के कुछ लोगों द्वारा विरोध करने वाले विशेष समुदाय के तीन लोगों के खिलाफ कोतवाली पुलिस को तहरीर देकर मुकदमा लिखाने की कार्रवाई की गई है। जिसका उन्होंने विरोध करते हुए कहा कि रामनगर में भाजपा के लोग सांप्रदायिक माहौल खराब करने के साथ नगर में सांप्रदायिकता का जहर घोलने का काम कर रहे हैं। जिसे सहन नहीं किया जाएगा। रामनगर कोतवाल से इस मामले की निष्पक्ष जांच करने के साथ ही सत्ता के दबाव में आकर फर्जी मुकदमे दर्ज न करने की अपील भी की है।