डॉ. सौरभ सेठी ने बताया आसान ब्लड शुगर हैक, बिना डाइट बदले मिलेगा फायदा

डॉ. सौरभ सेठी ने अपनी हालिया इंस्टाग्राम पोस्ट में एक ऐसी लाइफस्टाइल आदत शेयर की है जो बिना डाइट बदले ब्लड शुगर कम करने में मदद करती है. कोई खाने के नियम नहीं, कोई कैलोरी गिनना नहीं, बस एक आसान रोज़ाना का काम जो नैचुरली ग्लूकोज कंट्रोल में मदद करता है.

डाइट ही एकमात्र जवाब क्यों नहीं- बहुत से लोग मानते हैं कि ब्लड शुगर कंट्रोल का मतलब सख्त डाइट है. लेकिन डॉ. सेठी बताते हैं कि आपका शरीर ग्लूकोज का इस्तेमाल कैसे करता है, यह उतना ही जरूरी है जितना कि आप क्या खाते हैं, खासकर खाने के बाद.

एक आदत जो फर्क लाती- वह आदत है खाने के बाद थोड़ी देर टहलना। सिर्फ 10 मिनट की हल्की-फुल्की मूवमेंट खाने के बाद ब्लड शुगर के बढ़ने को बिना ज़्यादा एक्सरसाइज़ के काफी कम कर सकती है.

किसे इससे फायदा हो सकता है- यह आदत प्रीडायबिटीज, टाइप 2 डायबिटीज, इंसुलिन रेजिस्टेंस, पेट की चर्बी, फैटी लिवर, वज़न बढ़ने और बार-बार मीठा खाने की इच्छा वाले लोगों के लिए फायदेमंद है, जिससे यह रोज़ाना की मेटाबॉलिक हेल्थ के लिए उपयोगी है.

टहलने से ग्लूकोज कैसे कम होता- जब आप टहलते हैं, तो आपकी टांगों की मांसपेशियां खून से ग्लूकोज को एक्टिव रूप से सोख लेती हैं. इससे खून में शुगर का लेवल नैचुरली कम होता है और खाने के बाद इंसुलिन पर बोझ कम होता है.

इंसुलिन और फैट का कनेक्शन- कम ब्लड शुगर का मतलब है कम इंसुलिन रिलीज. इंसुलिन का लेवल कम होने से फैट जमा होने को कम करने में मदद मिलती है, खासकर लिवर और पेट के एरिया में, जो लंबे समय तक मेटाबॉलिक हेल्थ के लिए जरूरी फैक्टर हैं.

छोटी सैर, बड़े नतीजे- खाने के बाद रेगुलर सैर से एनर्जी लेवल स्थिर रहता है, शुगर क्रैश कम होते हैं, इंसुलिन सेंसिटिविटी बेहतर होती है, और बिना ज़्यादा लाइफस्टाइल में बदलाव के समय के साथ ब्लड शुगर कंट्रोल बेहतर होता है.

डॉ. सौरभ सेठी तेज़ी के बजाय रेगुलर रहने पर ज़ोर देते हैं. आपको तेज़ चलने या जिम जाने की ज़रूरत नहीं है. खाने के बाद घर पर धीरे-धीरे टहलना भी लंबे समय तक हेल्दी ब्लड शुगर लेवल बनाए रखने में मदद कर सकता है.