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(इंडिया न्यूज़): डॉक्टर को दूसरा भगवान कहा जाता है। जिसके भरोसे मरीज़ अपने इलाज के लिए डॉक्टर पर आंख मूंद कर भरोसा कर लेता है, लेकिन क्या कहा जाए जब इस भगवान से ही गलती हो जाए और गलती भी ऐसी कि जिसकी भरपाई कोई नहीं कर सकता बल्कि सीधा मौत। ऐसा ही कुछ किया गया है उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में जहां डेंगू पेशेंट को प्लेटलेट्स की जगह मौसमी का जूस चढ़ाने की वजह से जान गंवाने का आरोप है. यह सनसनीखेज मामला प्रयागराज के झलवा इलाके से जुड़ा है. डेंगू होने के चलते प्रदीप कुमार पाण्डेय को एक निजी अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया था. आरोप है कि यहीं मरीज को प्लेटलेट्स की जगह मौसमी का जूस चढ़ा दिया गया, जिससे उसकी जान चली गई. मामले के सोशल मीडिया में आने के बाद प्रशासन ने अस्पताल को सील कर दिया है.
प्रदीप कुमार पाण्डेय के साले सौरभ त्रिपाठी ने बताया कि जब उसके जीजा प्रदीप कुमार पाण्डेय की प्लेटलेट्स घटने लगी और 12-13 हज़ार तक पहुंच गई तो अस्पताल के डॉक्टरों ने उनसे 8 यूनिट प्लेटलेट्स का इंतजाम करने को कहा. इसके बाद प्रदीप कुमार पाण्डेय के परिजनों ने 3 यूनिट प्लेटलेट्स मैनेज किए. इससे प्रदीप की हालत में थोड़ा सा सुधार हुआ लेकिन बाकी पांच यूनिट प्लेटलेट्स नहीं मिल पा रहे थे.
इस दौरान अस्पताल की बिल्डिंग के मालिक के बेटे सतीश साहू ने उनसे 5 यूनिट प्लेटलेट्स का इंतज़ाम करने के बदले में 25 हज़ार रुपये की मांग की. हारकर प्रदीप के घर वालों ने सतीश साहू से 25000 रुपये में 5 यूनिट प्लेटलेट्स खरीद लिए, लेकिन जब प्रदीप को प्लेटलेट्स चढ़ने लगा तो उनकी हालत बिगड़ने लगी और अस्पताल प्रबंधन ने हाथ खड़े कर दिए. अस्पताल की तरफ से कहा गया कि प्रदीप को कहीं और ले जाने को कहा जाने लगा.
प्रदीप के घर वाले 18 अक्टूबर को उन्हें दूसरे निजी अस्पताल में लेकर पहुंचे लेकिन अब तक प्रदीप की हालत बहुत बिगड़ चुकी थी. प्रदीप की किडनी डैमेज हो चुकी थी. कई नसें फट चुकीं थीं. इस दौरान 25000 रुपये में खरीदे गए 5 यूनिट प्लेटलेट्स में से बची एक यूनिट प्लेटलेट्स प्रदीप के घर वालों ने उस निजी अस्पताल के डॉक्टरों को दिखाया तो उन्होंने कहा इसमें प्लेटलेट्स नहीं है, बल्कि प्लेटलेट्स की जगह मौसमी का जूस है और केमिकल भी मिला हुआ है.
दरअसल, प्रयागराज में डेंगू फैलने के बाद इन दिनों यह धंधा जोरों पर चल रहा है. लोग प्लेटलेट्स की कालाबाजारी तो कर ही रहे हैं. साथ ही प्लेटलेट्स की जगह केमिकल मिला मौसमी का जूस भी डेंगू पेशेंट को बेच रहे हैं. इस दौरान प्रदीप की हालत लगातार बिगड़ती गई और 19 अक्टूबर को प्रदीप की मौत हो गई. प्रदीप की उम्र महज 32 साल थी और उनका भरा पूरा परिवार था. प्रदीप के साले सौरभ त्रिपाठी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से अपील की है कि वह इस मामले में हस्तक्षेप करें और दोषियों को सजा दिलाएं.
वहीं, इस घटना के सोशल मीडिया पर वायरल होने पर जिला प्रशासन हरकत में आ गया. cmo ने मामले को संज्ञान में लेते हुए आज दो डॉक्टरों की जांच टीम गठित कर दी. उस जांच टीम ने मरीज को मौसमी का जूस और केमिकल चढ़ाने वाले अस्पताल के संचालक का बयान लिया. इसके साथ ही सौरभ से भी मामले की पूरी जानकारी ली है. दिखाया तो उन्होंने कहा इसमें प्लेटलेट्स नहीं है, बल्कि प्लेटलेट्स की जगह मौसमी का जूस है और केमिकल भी मिला हुआ है.
बता दें कि यूपी के प्रयागराज में ये मामला सामने आया है कि डेंगू मरीजों को फर्जी प्लाज्मा चढ़ाया जा रहा है, जिससे मरीजों की हालत और बिगड़ रही है. जांच के दौरान कुछ संदिग्धों को हिरासत में भी लिया गया है. प्रयागराज के आईजी राकेश सिंह ने बताया कि कुछ दिन पहले एक फर्जी ब्लड बैंक का खुलासा हुआ था. उसकी जांच की जा रही है.
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