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इंडिया न्यूज, नई दिल्ली:
IPL 2021 Final : धोनी ने चेन्नई सुपर किंग्स को जिस प्रकार आईपीएल 2021 का चैंपियन बनाया उससे साफ है कि आईपीएल का दूसरा अर्थ ही एमएस धोनी है। यह बात दीगर है कि कोलकाता नाइटराइडर्स ने 193 रन का पीछा करने के लिए जो शुरुआत की उससे एक समय सीएसके का कलेजा भी मुंह को आ गया था।
चेन्नई सुपर किंग्स के टीम प्रबंधन का भरोसा उन पर कम नहीं हुआ। इसकी वजह अब किसी से छिपी नहीं है। भारतीय क्रिकेट मे महेंद्र सिंह धोनी को क्रिकेट के सबसे छोटे फॉर्मेट का सबसे बेहतरीन दिमाग माना जाता है, और धोनी ने यह एक बार फिर साबित भी कर दिया है।
उन्होंने चेन्नई सुपर किंग्स को जिस तरह आईपीएल के 14वें संस्करण में चैंपियन बनाया उससे साफ हो जाता है कि आईपीएल का मतलब है महेंद्र सिंह धोनी और धोनी का मतलब चेन्नई सुपर किंग्स है।
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कल रात फाइनल मुकाबले में चेन्नई सुपर किंग्स ने कोलकाता नाइट राइडर्स को हराकर खुद को चौथी बार चैंपियन बनाया। आईपीएल में रोमांच है तो यह रोमांच फाइनल तक जाना चाहिए और हुआ भी ऐसा ही। यह अलग बात है कि चेन्नई ने फाइनल 27 रन के फासले से जीता, पर मैच में रफ्तार बनी रही।
कोलकाता ने 193 रन चेज के लिए जैसी शुरूआत कि उससे एक समय सीएसके का कलेजा भी मुंह को आ गया, लेकिन धोनी के धुरंधरों के बनाए विशाल स्कोर के दबाव मे आखिर नाइट राइडर्स को चटकना ही पड़ा। शुभमन गिल और वेंकटेश अय्यर की विस्फोटक शुरूआत के बाद भी कोलकाता को जीत नहीं मिल सकी।
दोनों के आउट होते ही बाकी बल्लेबाज ताश के पत्तों की तरह बिखर गए। फाइनल में कोलकाता की ठोस शुरूआत और शुभमन गिल के 51 और वेंकटेश अय्यर के 50 रन भी आखिर नाइट राइडर्स को जीत नहीं दिला सके।
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पिछले सीजन मे सीएसके की टीम लीग की निचली पायदान पर सातवें नंबर पर थी, और इस बार उसने खिताब जीत लिया, यानि धोनी की अगुवाई मे सिर्फ दो सीजन मे टीम ने फर्श से अर्श तक का सफर तय कर लिया।
चेन्नई टीम प्रबंधन ने लगातार धोनी पर भरोसा जताया तो धोनी ने अपनी टीम पर, यही वजह है कि लीग के दौरान सीएसके ने ही सबसे कम खिलाड़ियों को बदला, और वह लगातार अच्छा करते रहे। यही नहीं धोनी की टीम को डैड्स आर्मी भी कहा जाता था, लेकिन आखिर अनुभव और युवा जोश के घातक संतुलन से इस टीम ने बाजी मार ही ली।
दूसरी तरफ कोलकाता भले ही फाइनल मे हार गया हो, लेकिन इसे उसकी नाकामी के तौर पर नहीं देखा जाना चाहिए। तमाम मजबूत टीमों के रहते फाइनल तक का सफर इसने तय किया और मोर्गन ने भी यह जता दिया की धोनी की तरह वह भी रणनीति के कुशल चितेरे हैं। वैसे लीग के दौरान धोनी की ही तरह मॉर्गन के बल्ले का भी कोई खास असर देखने को नहीं मिला।
(IPL 2021 Final)
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