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India News(इंडिया न्यूज), Shree Karni Mata Temple: बीकानेर में मौजूद करणी माता का मंदिर काफी प्रसिद्ध है। यह मंदिर करणी माता को समर्पित किया गया है। यहां पर रहने वाले लोगों का मानना है की माता दुर्गा मां का अवतार है और लोगों की रक्षा करती है इसके साथ इस मंदिर की मान्यता और अधिक इस वजह से भी है। क्योंकि यहां पर हजारों की संख्या में चूहे रहते हैं। जिनका झूठा प्रसाद श्रद्धालु खाते हैं।
करणी माता मंदिर के बारे में बताएं तो उसका निर्माण 20वीं शताब्दी में हुआ था। बीकानेर के महाराज गंगा सिंह ने इसका निर्माण करवाया था। मंदिर की पूरे संचार संगमरमर से किया गया है। इसके साथ ही मुगल शैली का भी चुनाव किया गया। मंदिर की गृह में बीकानेर की करणी माता की मूर्ति विराजमान है। जिसमें वह हाथ में त्रिशूल लिए देखी जा सकती है। देवी की मूर्ति के साथ ही दोनों और उनकी बहनों की मूर्तियां भी लगी हुई है।
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करणी माता का यह मंदिर वास्तुकला के साथ-साथ अपने 25000 से ज्यादा चूहों के लिए भी प्रसिद्ध है। जो अक्सर यहां पर देखा जाता है कि चूहे बचा हुआ खाना खाते हैं, लेकिन इस जगह पर चूहे का बचा हुआ प्रसाद को भक्त खाते है। इस मंदिर की यह पवित्र मान्यता है और उसके बाद ही कोई चमत्कार देखने के लिए लोग आते हैं। Shree Karni Mata Temple
मंदिर के अंदर खासतौर चूहों के लिए दूध, मिठाई और प्रसाद लगाया जाता है और इसी के साथ सभी चूहों में से सफेद चूहों को काफी विशेष माना जाता है, क्योंकि यह करणी माता के पुत्र का अवतार भी माने जाते हैं। हालांकि मंदिर में गलती से भी किसी चूहे को चोट पहुंचाना है। ऐसा करने वाले व्यक्ति को पश्चाताप के रूप में सोने का चूहा चढ़ना पड़ता है। इसलिए यहां के लोग अपने पैरों को उठाने के बाद नीचे देखकर ही रखते है।
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कहा जाता है और शाम की आरती के दौरान चूहे बाहर निकाल के आते हैं और आरती में शामिल होते हैं। वहीं इस खास मंदिर में साल में दो बार भव्य मेला भी लगता है। जिसमें पुजारी द्वारा मंगल आरती होती है। इसके साथ ही बता दे की नवरात्रि के दौरान लगने वाला मेला यहां पर काफी प्रसिद्ध है। जो कि मार्च से अप्रैल और सितंबर से अक्टूबर के बीच लगता है। इन मेलों में हजारों की संख्या में भक्तजन माता के दर्शन करने और उनके प्रसाद को खाने के लिए आते हैं। कहा तो यह भी जाता है की माता प्रसाद को खाने से किसी भी तरीके की बीमारी दूर हो जाती है।
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