India News (इंडिया न्यूज़), Chaitra Navratri 2024, दिल्ली: सभी जानते हैं कि शास्त्रों में ग्रहण की घटना को शुभ नहीं माना जाता है। ऐसे में वैदिक ज्योतिष शास्त्र की गणना के मुताबिक हर 15 दिन के अंतराल पर सूर्य और चंद्र ग्रहण की घटना घटती है। वही हमेशा पूर्णिमा तिथि को चंद्र ग्रहण लगता है जबकि सूर्य ग्रहण अमावस्या तिथि को पड़ता है। वही बता दे की 8 अप्रैल 2024 को चैत्र माह की अमावस्या तिथि है। जो इस साल का पहला सूर्य ग्रहण होने वाला है। वही आपको याद होगा कि साल का पहला चंद्र ग्रहण फाल्गुन माह की पूर्णिमा तिथि यानी की 25 मार्च 2024 को लगा था।
- साल का पहला सूर्य ग्रहण
- नवरात्री की शुरूआत
- भारत में ग्रहण का असर
चैत्र नवरात्रि का शुभारंभ और साल का पहला सूर्य ग्रहण
इस साल चैत्र नवरात्रि की शुरुआत से पहले ही सूर्य ग्रहण पड़ रहा है। ऐसे में आप सभी के मन में यह सवाल जरूर आ रहा होगा कि क्या सूर्य ग्रहण का समय नवरात्रि के पहले दिन कलश स्थापना पर रहेगा। तो बता दे की साल का पहला सूर्य ग्रहण क्षेत्र अमावस्या पर लग रहा है और इसके अगले दिन शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा से चैत्र नवरात्रि शुरू किया जाएगा। इस दिन से ही हिंदू नव वर्ष विक्रम संवत 2081 की शुरुआत हो रही है।
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क्या है ग्रहण का समय?
8 अप्रैल को साल का पहला सूर्य ग्रहण लगने वाला है। वहीं भारतीय समय के अनुसार 8 अप्रैल को सूर्य ग्रहण रात में लगने वाला है। जो 9:12 से होगा। वही यह सूर्य ग्रहण मध्य रात्रि 1:25 को खत्म किया जाएगा। इस तरह सूर्य ग्रहण की कुल अवधि 4 घंटे 25 मिनट की होने वाली है। इसके अगले दिन यानी की 9 अप्रैल से चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि शुरू हो रही है। इसके साथ ही कलश स्थापना और पूजा आराधना के साथ 9 दिन का मां दुर्गा का व्रत रखा जा सकता है। यह ग्रहण भारत से दूर लग रहा है इसलिए इसका प्रकूप भारतीय समय और शुभ कार्य पर कम है। Chaitra Navratri 2024
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भारत में नहीं लगेगा सूर्य ग्रहण Chaitra Navratri 2024
साल का पहला सूर्य ग्रहण एक पूर्ण सूर्य ग्रहण होने वाला है, लेकिन यह भारत में नहीं देखा जाएगा। ऐसे में ग्रहण का सूतक काल मानिय नहीं होगा। भारत में सूतक काल के मान्य नहीं होने के कारण पूजा पाठ और शुभ कार्य को प्रतिबंधित नहीं किया जा रहा है। जब भी सूर्य ग्रहण लगता है तो उसके अनुसार 12 घंटे पहले सूतक काल प्रभावित रहता है और ग्रहण खत्म होने के साथ ही सूतक की समाप्ति होती है।
भारत में ग्रहण को नहीं देखा जाएगा। इस कारण से सूतक काल की मानता नहीं है। जिन देशों में यह ग्रहण दिखने वाला है, वहां 8 अप्रैल को ग्रहण की शुरू होने से 12 घंटे पहले ही सूतक लग जाएगा। इस तरह से भारत में किसी भी तरीके के प्रभाव को नहीं देखा जाएगा और 8 अप्रैल को चैत्र अमावस्या की पूजा और फिर अगले दिन 9 अप्रैल को शुभ कलश स्थापना करने में किसी भी तरह की परेशानी नहीं है। Chaitra Navratri 2024
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चैत्र नवरात्रि की तिथि और कलश स्थापना Chaitra Navratri 2024
हिंदू पंचांग के अनुसार चैत्र माह की शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि चैत्र नवरात्रि की शुरुआत हो रही है। जिसको 9 दिन तक मां दुर्गा के लिए पूजा पाठ और व्रत के लिए चुना गया है। चैत्र माह शुक्ल पक्ष की शुरुआत 8 अप्रैल को रात 11:55 से हो रही है। जिसका समापन 9 अप्रैल को रात 9:43 पर होगा उदय तिथि को देखते हुए 9 अप्रैल को नवरात्रि का पहला दिन मनाया जाएगा। वही इस दिन अभिजीत मुहूर्त में दोपहर 11:33 से 12:24 तक कलश स्थापना की जाएगी।