संबंधित खबरें
NEET UG 2025: एक दिन-एक पाली में कराई जाएगी परीक्षा, पेपर-पेन मोड में होगी इस तरह आयोजित!
UGC NET Exam: छात्रों को एक और झटका! 15 जनवरी हो होने वाली यूजीसी नेट परीक्षा स्थगित, जानिए क्या होगी नई तिथि
NEET दिए बिना भी अब मेडिकल फील्ड में बना सकते है करियर, बस करना होगा इन 5 कोर्सेस में से कोई एक और फिर तगड़ी होगी कमाई
200 साल में भारत का कोना-कोना चुन ले गए थे अंग्रेज, सच सुन चौंक जाएंगे आप!
SBI Clerk Recruitment 2024: भारतीय स्टेट बैंक ने निकाली बंपर भर्तियां, भूलकर भी न छोड़ें यह सुनहरा मौका, जानें अप्लाई करने का पूरा प्रोसेस
सीआईएसएफ ने 29वीं अंतर केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल वाद-विवाद प्रतियोगिता 2024 जीती
Orphan girls will get a chance to study in UP: कहते हैं शिक्षा सबका मूल अधिकार है,आज समाज के हर नागरिक को शिक्षित होना जरूरी है। लेकिन हर किसी के पढ़ने की ख्वाहिश पूरी नहीं हो पाती है कुछ लोग अपनी विभिन्न परिस्थितियों के कारण शिक्षा से वंचित रह जाते हैं। तो कुछ किसी अन्य वजह से,इनमें से ज्यादातर महिलाएं ही होती हैं,लेकिन अब ऐसा नहीं है।
महिला एवं बाल कल्याण विभाग चला रहा है एक अनोखी मुहिम
बेटियों को शिक्षित करने के लिए गाजियाबाद में महिला एवं बाल कल्याण विभाग एक अनोखी मुहिम चला रहा है। जिसके तहत बाल आश्रय गृह में रहने वाली लड़कियों को शिक्षित किया जाएगा। बता दें कि बाल आश्रय गृह में रहने वाली करीब 50 लड़कियां इस मुहिम के तहत चिन्हित की गई है। जिन्हें पढ़ाई का मौका मिलेगा। इसके आलावा महिला एवं बाल कल्याण विभाग अभी और लड़कियों की सूची तैयार कर रहा है। इनमें से पढ़ाई में इच्छुक लड़कियों को कक्षा 5 से लेकर 12वीं कक्षा तक दाखिला दिलवाया जाएगा. जिससे कि बेटियां अपने पैरों पर खड़े होकर आत्मनिर्भर बन सके।
नौकरी का भी मिलेगा अवसर
जैसे ही बेटी की 12वीं तक की पढ़ाई पूरी हो जाएगी,उसके बाद उसकी रूचि के आधार पर प्रोफेशनल कोर्स भी कराया जाएगा। और कोर्स पूरा करने के बाद आसपास के निजी कंपनियों में उनको नौकरी भी दिलवाई जाएगी। ताकि वह भी अपना जीवन सामान्य महिला की तरह जी सके। क्योंकि उन्हें भी एक सामान्य महिला की तरह जीने का अधिकार हैं। शिक्षा का जो भी खर्चा आएगा वह महिला एवं बाल कल्याण विभाग के द्वारा उठाया जाएगा। अगर पढ़ाई के दौरान कोई समस्या आएगी तो भी महिला एवं बाल कल्याण विभाग मदद करेगा।
इस प्रयास से बेटियां बनेंगी आत्मनिर्भर
जिला प्रोबेशन अधिकारी विकास चंद्र ने बताया कि ये प्रयास बेटियों को सशक्त बनाने के लिए किया जा रहा है। पढ़ाई से ना केवल ज्ञान और आत्मविश्वाश बढ़ता है बल्कि समाज में एक पहचान भी मिलती है। बहुत सी ऐसी परिस्थितियां होती हैं जिस कारण बेटियों की पढ़ाई छूट जाती है। इस प्रयास से हमारा सिर्फ यहीं उद्देश्य है कि लड़कियों की काउंसलिंग कर इनको वापस पढ़ाई की तरफ लाया जाएं। कक्षा 12वीं करने के बाद उन्हें ऐसे प्रोफेशनल कोर्स करवाए जाएंगे जिससे कि वह अपना जीवन अच्छे से निर्वाह कर सके।
Also read: अब यूक्रेन से लौटे छात्रों को मिलेगा भारत में मेंस एग्जाम देने का मौका,जानिए कैसे?
Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.