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अजीत मैंदोला, Haryana Rajya Sabha Election Results : राज्यसभा चुनाव में निर्दलीय कार्तिकेय शर्मा ने कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अजय माकन को हराकर हरियाणा की राजनीति में सनसनी फैला दी। बीजेपी और जेजेपी के समर्थन से पहली बार राजनीति के मैदान में उतरे युवा कार्तिकेय ने जिस तरह की सूझबूझ की राजनीति की बड़े बड़े दिग्गज भी हैरान हैं। उधर राज्यसभा के इस चुनाव परिणाम का हरियाणा कांग्रेस की राजनीति में उथल पुथल मचना तय है। खास तौर हरियाणा के दिग्गज नेता माने जाने वाले भूपेंद्र सिंह हुड्डा के लिये यह बड़ा झटका है।
इस हार ने उनके राजनीतिक कद पर तो असर डाला ही आगे भी मुश्किलें आनी तय है। क्योंकि बन्द मुट्ठी खुल गई। आलाकमान से सब कुछ अपनी मर्जी का कराने के बाद अपने विधायकों को एक जुट नही रख पाए। कुलदीप विश्नोई ने तो खिलाफ वोट डाला ही साथ ही एक और विधायक ने इतनी सफाई से चकमा दिया कि पता ही नही लगा पाये। हरियाणा के मामले में आलाकमान से भी बड़ी चूक हुई। एक तो अजय माकन का चयन गलत हुआ।
दूसरा प्रदेश अध्य्क्ष का फैसला कुछ दिन के लिये टाला जा सकता था। अंतरिम अध्य्क्ष सोनिया गांधी ने हुड्डा के दबाव में उनकी पसंद का प्रदेश अध्य्क्ष बना प्रदेश के कई बड़े नेताओं को नाराज कर दिया। उसके बाद राहुल गांधी ने प्रदेश अध्य्क्ष पद न मिलने से नाराज एक प्रमुख नेता कुलदीप विश्नोई से मिलना उचित नही समझा। जबकि विश्नोई की एक ही मांग थी कि वह राहुल से मिलना चाहते हैं।
राहुल का वोटिंग से पहले विश्नोई को समय न देना भी हैरानी वाला फैसला माना जा रहा है। क्योंकि एक वोट ने ही सारा खेल बिगाड़ा। इसके पीछे कहा जा रहा है कि हुड्डा ने अतिआत्मविश्वास के चलते विश्नोई की राहुल से मीटिंग नही होने दी। हरियाणा राजनीति के दिग्गज माने जाने वाले हुड्डा को इस बात का अहसास नही था कि युवा कार्तिकेय एक एक वोट पर नजर रखे हुये थे। विधायकों को दिल्ली से दूर रायपुर रख इतना बड़ा खर्चा करने के बाद भी वे सेंध लगाने में सफल रहे। इसे कार्तिकेय की सूझबूझ की राजनीति ही कही जाएगी।
बीजेपी और जेजेपी का भले ही कार्तिकेय को समर्थन प्राप्त था, लेकिन अपनी तरफ से उन्होंने कोई कोर कसर नही छोड़ी। इस जीत के बाद एक बार फिर हरियाणा की राजनीति में विनोद शर्मा परिवार की धमाकेदार वापसी हो गई। पूर्व केंद्रीय मंत्री विनोद शर्मा ने लंबे समय तक कांग्रेस की राजनीति की। लेकिन कुछ समय से वह कम ही सक्रिय थे। बेटे की जोरदार जीत के बाद हरियाणा की राजनीति में उनकी सक्रियता बढ़ना तय है।
किस रूप में होगी देखना होगा,लेकिन अभी तक हुड्डा को लेकर जो माहौल बना था उस पर डेंट लग गया। आने वाले दिनों में उनको चुनोती मिलना तय। वरिष्ठ नेता अजय यादव पहले ही मोर्चा खोल चुके हैं। पूर्व प्रदेश अध्य्क्ष शैलजा,राजस्थान से नव निर्वाचित सांसद रणदीप सिह सुरजेवाला,कुलदीप विश्नोई कोई भी हुड्डा को घेरने का मौका नही छोड़ेगा। आसान दिखने वाला राजस्थान कांग्रेस के लिये धीरे धीरे मुश्किलों वाला हो जाएगा।
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