Which Mask Is Best दिल्ली एनसीआर की हवा गैस चैंबर में तबदील हो चुकी है। एक तरफ कोरोना का प्रकोप दूसरी तरफ प्रदूषण की मार, राजधानी वालों के लिए सांसो का आपातकाल चल रहा है। दीपावली के बाद सर्दी के मौसम में हर साल आसमान को जकड़ लेने वाली जहरीली धुंध ने एक बार फिर राजधानी दिल्ली समेत अन्य राज्यों को अपने गिरफ्त में ले लिया है।
यहां के नागरिकों को हवा के लिए हांफना पड़ रहा है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक एक दिन का एयर क्वालिटी इंडेक्स 15 से ज्यादा नहीं होना चाहिए, लेकिन ये फिगर यहां कई गुना ज्यादा है। घटती वायु गुणवत्ता और धुंध ना केवल स्वास्थ्य के लिए जहरीली साबित होती है बल्कि यह सांस संबंधी गंभीर बीमारियों की भी वजह बन सकती है।
प्रदूषण के कारण सांस लेने में परेशानी के साथ सिरदर्द, गले में इंफेक्शन, खांसी और आंखो में जलन जैसी परेशानियां हो रही हैं। ऐसे में एक तरफ कोरोना की मार और दूसरी तरफ प्रदूषण के कहर से बचने के लिए बाहर निकलते समय मास्क पहनकर निकलें। यहां हम आपको बताएंगे कि प्रदूषण से बचने के लिए कौन सा मास्क कारगार है।
(Which Mask Is Best)
एक तरफ कोरोना का प्रकोप और दूसरी तरफ प्रदूषण का कहर लोगों के लिए जानलेवा साबित हो सकता है। हाल ही में हुए एक शोध के मुताबिक दूषित हवा के कारण कोरोना संक्रमण में तेजी से वृद्धि हो सकती है। इतना ही नहीं यह अस्थमा व अन्य सांस संबंधी बीमारी वाले मरीजों के लिए अधिक भयावह हो सकता है।
(Which Mask Is Best)
साथ ही यह सर्दी, फ्लू, जुकाम, खांसी आदि कोरोना के लक्षणो को और भी खतरनाक बना सकता है। आने वाले समय में सांस संबंधी बीमारी से पीड़ित हो सकते हैं। ऐसे में आपको कोरोना के साथ प्रदूषण से बचने के लिए अधिक सजग होने की आवश्यकता है। कोरोना वायरस व प्रदूषण से बचने के लिए घर से बाहर निकलते समय मास्क जरूर लगाएं।
(Which Mask Is Best)
एक अध्यय के मुताबिक कोरोना वायरस के साथ प्रदूषण से बचने के लिए N95 और FFP1 मास्क सबसे ज्यादा सुरक्षित माना जाता है। दोनों मास्क चिकित्सीय रूप से प्रभावी माने जाते हैं। यह हवा में युक्त प्रदूषण के कणों को फिल्टर करने में कारगार होता है। FFP1 मास्क हवा को फिल्टर करने में 95 प्रतिशत कारगार होता है। ऐसे में बाहर निकलते समय N95 या FFP1 मास्क लगाकर निकलें।
हम पहले ही जानते हैं कि मास्क कोरोना वायरस के जोखिम को कम करने में कितना प्रभावी और निवारक है। मास्क कोरोना वायरस के संक्रमण को फैलने से रोकता है। आपको बता दें प्रदूषण बढ़ने पर हवा में पीए 2.5 और पीएम 10 की मात्रा काफी बढ़ जाती है। लंबे समय तक पीएम 2.5 के संपर्क में रहने से सांस संबंधी बीमारियों का खतरा अधिक बढ़ जाता है।
पीएम 2.5 के कण काफी छोटे होते हैं ये हमारे फेफड़ो में आसानी प्रवेश कर जाता है, जिससे फेफड़ो से संबंधित बीमारियों का खतरा काफी बढ़ जाता है। ऐसे में घर से बाहर निकलते समय मास्क पहनकर निकलें। तथा दमा व अस्थमा के मरीजों को घर में भी मास्क लगाकर रखना चाहिए। यह हवा को फिल्टर में कारगार होता है।
आपको बता दें यह जरूरी नहीं है कि जो मास्क कोरोना से बचने कि लिए कारगार होता है वो प्रदूषण से बचने के लिए उपयोगी हो। जैसे डी क्लॉथ मास्क, सर्जिकल मास्क या लंबे समय से उपयोग किए जाने वाले मास्क का उपयोग करके आप प्रदूषण से नहीं बच सकते हैं।
क्योंकि ये मास्क काफी पतला होता है, जिससे हवा के साथ प्रदूषित कंण आसानी से अंदर चला जाता है। ऐसे में प्रदूषण से बचने के लिए एन-95 मास्क पहनें। यदि एन 95 मास्क आपके बजट से ज्यादा है तो किसी मोटे कपड़े से बने मास्क या फिर दो मास्क लगाएं।
ध्यान रहे यदि आप एक ही मास्क रोजाना लगाते हैं तो उसे प्रतिदिन अच्छे से साफ करें। क्योंकि हवा के संपर्क में आने से मास्क पर दूषित कण जमा हो जाते हैं, यह आपके स्वास्थ्य के लिए नुकसानदायक हो सकता है। इसलिए अपने मास्क को रोजाना अच्छी तरह साफ करें।
(Which Mask Is Best)
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