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India News (इंडिया न्यूज), Adani University First Convocation: अडानी विश्वविद्यालय ने 5 अक्टूबर, 2024 को अपने शांतिग्राम परिसर में अपना पहला दीक्षांत समारोह मनाया। जो शैक्षणिक उत्कृष्टता की दिशा में संस्थान की यात्रा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हुआ। दुनिया के अग्रणी पर्यावरण शिक्षकों में से एक और सेंटर फॉर एनवायरनमेंट एजुकेशन (सीईई) के संस्थापक और निदेशक पद्म श्री कार्तिकेय विक्रम साराभाई ने दीक्षांत समारोह में भाषण दिया। दीक्षांत समारोह की अध्यक्षता अडानी विश्वविद्यालय की अध्यक्ष डॉ प्रीति अदानी ने की।
बता दें कि एमबीए (इंफ्रास्ट्रक्चर मैनेजमेंट), एमबीए (एनर्जी मैनेजमेंट) और एमटेक (कंस्ट्रक्शन इंजीनियरिंग एंड मैनेजमेंट) कार्यक्रमों के 69 स्नातकोत्तर छात्रों ने अपनी डिग्री प्राप्त की। जबकि 4 छात्रों ने दीक्षांत समारोह में अपने अनुकरणीय प्रदर्शन के लिए स्वर्ण पदक प्राप्त किए। जो अडानी विश्वविद्यालय के गौरवशाली राजदूतों के रूप में उनकी यात्रा की शुरुआत है। इस दीक्षांत समारोह में गवर्निंग बॉडी, बोर्ड ऑफ मैनेजमेंट, अकादमिक परिषद, बोर्ड ऑफ स्टडीज के सदस्य और कॉरपोरेट जगत के कई प्रतिष्ठित अतिथि तथा अकादमिक और शोध बिरादरी के भागीदार, स्नातक करने वाले छात्र और उनके माता-पिता शामिल हुए।
मुख्य अतिथि श्री कार्तिकेय साराभाई ने अडानी विश्वविद्यालय के पहले दीक्षांत समारोह कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि जैसा कि आप इस नए अध्याय की शुरुआत कर रहे हैं, आपके लिए उन चुनौतियों और उन कौशलों पर विचार करना महत्वपूर्ण है। जिनकी आपको प्रभावी ढंग से नेविगेट करने के लिए आवश्यकता होगी। श्री साराभाई ने विकास में समावेशिता की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने भविष्य के नेताओं से समुदायों के साथ जुड़ने और विभिन्न हितधारकों के साथ सहयोग करने का आग्रह किया। उन्होंने तकनीकी व्यवधान के प्रभाव को भी संबोधित किया, इस बात पर जोर देते हुए कि प्रौद्योगिकी को सशक्त बनाना चाहिए, बहिष्कृत नहीं करना चाहिए।
अडानी विश्वविद्यालय की अध्यक्ष डॉ प्रीति अडानी ने अपने संबोधन में वरिष्ठ नेतृत्व, संकाय और प्रशासनिक कर्मचारियों को विश्वविद्यालय की स्थापना में उनके अथक प्रयासों के लिए बधाई दी। जिसे 2022 में औपचारिक स्वीकृति मिली। डॉ अडानी ने शिक्षा की परिवर्तनकारी शक्ति पर प्रकाश डालते हुए कहा कि शिक्षा में अतुलनीय चमक है। उन्होंने प्रधानमंत्री के आत्मनिर्भर भारत के दृष्टिकोण के साथ जीवन विज्ञान में अनुसंधान और नवाचार पर ध्यान केंद्रित करके एक नए भारत को आकार देने के लिए विश्वविद्यालय की प्रतिबद्धता को दोहराया। उन्होंने उल्लेख किया कि असफलताएं आपको अधिक प्रगति के मार्ग पर लाने में मदद करती हैं। उन्होंने असफलताओं को विकास के अवसर के रूप में देखने का आग्रह किया।
डॉ प्रीति अडानी ने अडानी विश्वविद्यालय को वैश्विक मान्यता प्राप्त करने की अपनी आकांक्षा व्यक्त की। स्नातकों से अपने अल्मा मेटर के राजदूत बनने और सामाजिक बेहतरी के लिए अपने ज्ञान को लागू करने का आह्वान किया। उन्होंने स्नातकों से पेशेवर दुनिया के बदलावों और चुनौतियों को अपनाने का आग्रह किया। साथ ही इस बात पर जोर दिया कि उत्कृष्टता- ज्ञान, दृढ़ता, तर्कसंगतता और बुद्धिमत्ता में निहित उन्हें दूसरों से अलग बनाएगी।
प्रोवोस्ट प्रोफेसर रवि पी सिंह ने एक विश्वविद्यालय के रूप में अपनी स्थापना के बाद से अडानी विश्वविद्यालय द्वारा हासिल की गई शैक्षणिक उपलब्धियों पर एक रिपोर्ट प्रस्तुत की। वर्ष 2023-24 के लिए विश्वविद्यालय की रिपोर्ट प्रस्तुत करते हुए, प्रोफेसर सिंह ने कहा कि पिछले एक साल में, हमने अदानी विश्वविद्यालय में महत्वपूर्ण उपलब्धियाँ हासिल की हैं। अडानी समूह के पेशेवरों के साथ हमारी साझेदारी कक्षा में वास्तविक दुनिया की अंतर्दृष्टि लाकर सीखने के अनुभव को समृद्ध करती है। वहीं छात्रों ने प्रमुख स्थलों और कैपस्टोन परियोजनाओं के दौरे के माध्यम से व्यावहारिक अनुभव प्राप्त किया है।
बता दें कि, इस यूनिवर्सिटी की परिकल्पना इंफ्रास्ट्रक्चर, ऊर्जा, प्रौद्योगिकी और डिजिटल हेल्थकेयर के क्षेत्रों में ट्रांसडिसिप्लिनरी रिसर्च, ज्ञान सृजन और शिक्षण-अधिगम प्रक्रियाओं पर ध्यान केंद्रित करने के लिए की गई है। अडानी यूनिवर्सिटी अपने परिसर में उच्च शिक्षा के लिए एक पारिस्थितिकी तंत्र दृष्टिकोण अपनाती है जिसमें न केवल पाठ्यक्रम, अनुशासन और शोध शामिल हैं; बल्कि दुनिया भर में उद्योग और संस्थानों के साथ साझेदारी के माध्यम से कौशल विकास, व्यावसायिक विकास, शिक्षक प्रशिक्षण, उद्यमिता विकास, नवाचार, उत्पाद विकास, आईपीआर निर्माण, गुणवत्ता और प्रमाणन, परामर्श और सहयोगी अनुसंधान भी शामिल हैं।
वर्तमान में, यूनिवर्सिटी इंजीनियरिंग, प्रौद्योगिकी और व्यवसाय प्रबंधन (स्नातक और स्नातकोत्तर) कार्यक्रम (बी.टेक, एम.टेक और एमबीए), लचीले एनईपी-अनुपालन एकीकृत बी.टेक + एमबीए कार्यक्रम के साथ-साथ अंतःविषय डॉक्टरेट कार्यक्रम (पीएचडी) प्रदान करती है जिसमें 1500 से अधिक छात्र हैं। अडानी विश्वविद्यालय गुजरात राज्य का पहला विश्वविद्यालय है, जिसने आईएसओ 21001:2018 प्रमाणन प्राप्त किया है।जिसे उच्च शिक्षा में प्रबंधन प्रणालियों के लिए स्वर्ण मानक माना जाता है।
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