संबंधित खबरें
‘केंद्रीय अर्धसैनिक बल, CISF और पुलिस के जवान पैसे लेते हैं तो…’ रिश्वत लेने वालों पर CM Mamata ने ये क्या कह दिया?
चलती बस से कूदी लड़की, बस में फैली यौन शोषण की…महिला के मेडिकल से हुआ बड़ा खुलासा
UP के इन 5 जगहों में नहीं लगेगा कोई फोन कॉल, CM Yogi के इस फैसले से ‘खास समुदाय’ की हो गई खटिया खड़ी
यूपी में भेड़िया के बाद बाघ का आतंक! हमले में किसान को उतारा मौत के घाट
पहले फाड़े कपड़े, तोड़ दिए दांत और आंखे, फिर मार-मार कर किया अधमरा, महिला के साथ बदमाशों ने की सारे हदें पार
CM Yogi का बड़ा तोहफा, Vikrant Massey की The Sabarmati Report को किया टैक्स फ्री
इंडिया न्यूज, नई दिल्ली :
corona vaccination : सुप्रीम कोर्ट ने कोरोना के खिलाफ देश में चल रहे टीकाकरण अभियान को लेकर बड़ी टिप्पणी की है। एक याचिका पर सुनवाई के दौरान घर-घर जाकर वैक्सीनेशन करवाए जाने को लेकर आदेश देने से कोर्ट ने बुधवार को इनकार कर दिया। शीर्ष अदालत ने कहा कि देश की विविध स्थितियों को देखते हुए घर-घर जाकर कोरोना का टीकाकरण करना असंभव है। जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़, जस्टिस विक्रम नाथ और जस्टिस हेमा कोहली की पीठ कहा, फिलहाल टीकाकरण सही तरीके से चल रहा है और ऐसे में हम मौजूदा टीकाकरण नीति को खत्म करने के लिए अलग से एक सामान्य आदेश पारित नहीं कर सकते। वकीलों के निकाय ने एक याचिका दायर कर विकलांगों और समाज के कमजोर वर्ग के लोगों के लिए डोर-टू-डोर कोरोना वैक्सीन की मांग की गई थी। उन्होंने कहा कि टीकाकरण अभियान उचित प्रगति पर है और 60 प्रतिशत से अधिक आबादी को वैक्सीन की पहली खुराक दी जा चुकी है। पीठ ने याचिकाकर्ता ‘यूथ बार एसोसिएशन’ को अपने सुझावों के साथ स्वास्थ्य मंत्रालय में सक्षम प्राधिकारी से संपर्क करने को कहा।
पीठ ने कहा कि लद्दाख में स्थिति केरल से अलग है। उत्तर प्रदेश में स्थिति किसी भी अन्य राज्य से अलग है। शहरी क्षेत्रों में स्थिति ग्रामीण क्षेत्रों से अलग है। इस विशाल देश में हर राज्य में विभिन्न प्रकार की समस्याएं हैं। ऐसे में आप पूरे देश के लिए एक आदेश चाहते हैं। टीकाकरण अभियान पहले से ही चल रहा है और 60 प्रतिशत से अधिक आबादी को पहली खुराक दी गई है। इस कठिनाई को समझना चाहिए। यह सरकार का मामला है और हम मौजूदा नीति को खत्म नहीं कर सकते।
शीर्ष अदालत ने एसोसिएशन की ओर से पेश अधिवक्ता बेबी सिंह से कहा कि याचिका को कठोर तरीके से दायर नहीं किया जा सकता है। याचिका में भारत संघ और सभी राज्यों को समाज के कम विशेषाधिकार प्राप्त लोगों, विकलांग, कमजोर वर्गों के लिए घर-घर जाकर कोरोना टीकाकरण के लिए निर्देश देने की मांग की गई थी। इसमें दलील दी गई थी कि ऐसे लोगों को कोविन ऐप पर रजिस्टर करने में काफी परेशानी होती है।
Get Current Updates on, India News, India News sports, India News Health along with India News Entertainment, and Headlines from India and around the world.