Farmers Movement कई अहम फैसले लिए जा सकते हैं
इंडिया न्यूज, सोनीपत :
Farmers Movement केंद्र सरकार द्वारा लागू किए गए तीन कृषि कानूनों के विरोध में देश के किसान कई संगठनों की अगुवाई में लगभग एक साल से राष्टÑीय राजधानी की सीमाओं पर डटे हुए हैं।
कुछ दिन बाद किसान आंदोलन को एक साल पूरा हो जाएगा। किसान नेता केंद्र सरकार के रवैये को देखते हुए आंदोलन को दोबारा से मजबूती देने के प्रयास कर रहे हैं। इसी के चलते संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) की अहम बैठक आज दोपहर बाद कुंडली बॉर्डर पर हो रही है। माना जा रहा है कि इस महत्वपूर्ण बैठक में कई बड़े फैसले लिए जा सकते हैं।
मोर्चा के सदस्य मंजीत राय ने कहा कि सरकार को झुकाने के लिए जरूरी है कि कुछ खास निर्णय लिए जाएं। किसान कृषि कानूनों को रद कराने व एमएसपी की गारंटी के लिए 26 नवंबर 2020 से दिल्ली की सीमाओं पर लगातार आंदोलन कर रहे हैं।
22 जनवरी तक किसानों व सरकार के बीच कई दौर की बातचीत हो चुकी थी। इसके बाद 26 जनवरी को लाल किले की घटना के बाद से सरकार व किसानों के बीच पैदा हुआ गतिरोध आज तक समाप्त नहीं हुआ है।
किसान नेताओं का कहना है कि उनके प्रतिनिधि कई बार कह चुके हैं कि सरकार यदि गतिरोध खत्म करते हुए बातचीत का न्योता देती है तो उन्हें स्वीकार होगा। लेकिन सरकार की ओर से बातचीत का कोई न्योता नहीं दिया जा रहा है। जिसके कारण किसान अब गुस्से में हैं।
उन्होंने जोर दिया कि अब सरकार को झुकाने के लिए किसानों को संघर्ष तेज करना पड़ेगा। ऐसे में वे खुद 9 नवंबर को कुंडली सीमा पर होने वाली बैठक में केजीपी को बंद करने का प्रस्ताव रखेंगे। इसके अलावा भी कई कड़े फैसले लिए जा सकते हैं।
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