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India News (इंडिया न्यूज़), Hathras Stampede: उत्तर प्रदेश के हाथरस-एटा बॉर्डर पर मंगलवार को सत्संग के दौरान मची भगदड़ में कम से कम 100 लोगों की मौत हो गई। शुरुआती रिपोर्ट के मुताबिक, सत्संग का नेतृत्व संत भोले बाबा कर रहे थे। हाथरस-एटा बॉर्डर के पास रतिभानपुर में उनके प्रवचन सुनने के लिए बड़ी संख्या में लोग जुटे थे। पंडाल में भीषण उमस और गर्मी के कारण भगदड़ मच गई।
मृतकों में 25 महिलाएं और दो बच्चे शामिल हैं, और मरने वालों की संख्या बढ़ सकती है। कई महिलाएं, बुजुर्ग और बच्चे घायल हुए हैं, जिनमें से कई की हालत गंभीर बताई जा रही है। एटा के सीएमओ ने भगदड़ के कारण 25 महिलाओं और दो बच्चों की मौत की पुष्टि की है। बाद में इलाके के प्रशासनिक अधिकारियों ने बताया कि मरने वालों की संख्या 50 से अधिक हो गई है और यह संख्या और भी बढ़ सकती है।
संत नारायण साकर हरि पश्चिमी उत्तर प्रदेश के एक प्रसिद्ध संत हैं। जानकारी के अनुसार, सफेद सूट और टाई पहने हुए, वह भक्तों को आध्यात्मिक ज्ञान देते हैं और उन्हें भौतिकवाद से ऊपर उठने और ईश्वर की भक्ति को अपनाने के लिए प्रोत्साहित करते हैं।
रिपोर्टों के अनुसार, उन्होंने एटा जिले के बहादुर नगर में सरकार के गुप्त सेवा विभाग में भी काम किया, लेकिन 1990 में अध्यात्म को आगे बढ़ाने के लिए इस्तीफा दे दिया। कोविड-19 महामारी के दौरान, उन्होंने सत्संग आयोजित करने और मंच पर अपनी पत्नी के साथ चर्चा में भाग लेने के लिए प्रमुखता हासिल की।
यौन शोषण समेत पांच अन्य गंभीर मुकदमों का आरोपी सूरज पाल उर्फ बाबा साकार हरि का पुराना सियासी कनेक्शन भी सामने आया है। समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव इस बाबा के सत्संग में शामिल होते रहें हैं। पिछले वर्ष जनवरी माह में भी अखिलेश बाबा के सत्संग में शामिल हुए थे और बाबा की महिमा का गुणगान में एक पोस्ट शेयर किया था।
अखिलेश यादव जब सूरज पाल उर्फ बाबा साकार हरि के कार्यक्रम में पहुंचे थे तो सोशल मीडिया साइट एक्स पर अपनी फोटो के एक पोस्ट शेयर की थी। उन्होंने एक्स पर सत्संग में हिस्सा लेने की तस्वीरें शेयर करते हुए एक पोस्ट भी लिखा था। इसमें अखिलेश यादव ने कहा था कि नारायण साकार हरि की सम्पूर्ण ब्रह्मांड में सदा-सदा के लिए जय जयकार हो।
यही नहीं उत्तर प्रदेश पुलिस में हेड कांस्टेबल की नौकरी के दौरान 28 साल पहले बाबा इटावा में भी पोस्टेड रहा है। जानकारी के मुताबिक नौकरी के दौरान बलात्कार का मुकदमा लिखे जाने के बाद सूरज पाल को पुलिस विभाग से बर्खास्त किया गया था। जेल से छूटने के बाद वह अपना नाम और पहचान बदलकर बाबा बन गया था।
इस घटना की जांच के लिए एडीजी आगरा और कमिश्नर अलीगढ़ के नेतृत्व में एक समिति बनाई गई है। सीएम कार्यालय ने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मृतकों के शोक संतप्त परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की। उन्होंने जिला अधिकारियों को घायलों को उचित उपचार के लिए तुरंत अस्पताल पहुंचाने और घटनास्थल पर राहत कार्य में तेजी लाने के निर्देश दिए।
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