India News (इंडिया न्यूज़), Muhammad Yunus: बांग्लादेशी नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मुहम्मद यूनुस को सोमवार को देश के श्रम कानून का उल्लंघन करने का दोषी ठहराया गया। जिसके बाद सजा के रुप में अदालत ने 6 महीने जेल की सजा सुनाई। हालांकि उनके समर्थकों का कहना है कि यह राजनीति है। श्रम अदालत की न्यायाधीश शेख मेरिना सुल्ताना ने इस मामले पर फैसला सुनाया।

तीन अन्य को भी मिली सजा

उन्होंने कहा कि उनके खिलाफ श्रम कानून का उल्लंघन करने का आरोप सिद्ध हो चुका है। उन्होंने कहा कि ग्रामीण टेलीकॉम के अध्यक्ष के रूप में कानून का उल्लंघन करने के कारण 6 महीने की साधारण कारावास की सजा दी गई है। उनके साथ अन्य तीन लोगों को भी कोर्ट ने सजा सुनाई है। वहीं अभियोजक खुर्शीद आलम खान ने कहा, “प्रोफेसर यूनुस और उनके तीन ग्रामीण टेलीकॉम सहयोगियों को श्रम कानूनों के तहत दोषी ठहराया गया और छह महीने के साधारण कारावास की सजा सुनाई गई।” उन्होंने कहा कि अपील लंबित रहने तक चारों को तुरंत जमानत दे दी गई। बता दें कि सजा के साथ सभी दोषियों पर 25000 टका का जुर्माना भी लगाया गया है।

प्रधान मंत्री और यूनुस राजनीतिक प्रतिद्वंद्वी

बता दें कि यूनुस और प्रधान मंत्री शेख हसीना के बीच लंबे समय तक मनमुटाव रहा है। इस दौरान उन्होंने गरीबों से “खून चूसने” का आरोप लगाया था। वहीं प्रधान मंत्री शेख हसीना की ओर से भी 83 वर्षीय यूनुस के खिलाफ कई हमले किए गए हैं। दोनों को राजनीतिक प्रतिद्वंद्वी के रूप में भी देखा जाता है।

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