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इंडिया न्यूज़, कीव।
यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने गुरुवार को रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मिलकर वार्ता करने का अनुरोध किया। साथ ही उन्होंने व्यंग करते हुए कहा, ‘मैं काटता नहीं हूं।’ एक न्यूज कांफ्रेंस में जेलेंस्की ने पुतिन की फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रों के साथ हाल में हुई मुलाकात की तस्वीरों की ओर इशारा करते हुए कहा, ‘मेरे साथ बैठकर वार्ता कीजिए। 30 मीटर दूर बैठकर नहीं।’
बता दें कि पुतिन-मैक्रों की मुलाकात की तस्वीरों में एक बहुत लंबी मेज के एक छोर पर पुतिन और दूसरे छोर पर मैक्रों बैठे दिखाई दे रहे हैं। यूक्रेन के राष्ट्रपति ने कहा, ‘मैं काटता नहीं हूं। आप किस बात से भयभीत हैं?’ जेलेंस्की ने कहा कि रूस और यूक्रेन के बीच एक और दौर की वार्ता की संभावनाएं आशाजनक नहीं लगतीं, लेकिन फिर भी बातचीत करना समझदारी है। बातचीत जंग से बेहतर है। यूक्रेनी राष्ट्रपति ने कहा कि दुनिया बहुत धीमी गति से उनके देश की मदद कर रही है और साथ ही पश्चिमी नेताओं से यूक्रेन के ऊपर नो-फ्लाई जोन लागू करने का अनुरोध किया ताकि रूसी लड़ाकू विमान वहां उड़ान न भर सकें। उन्होंने कहा कि अगर वे ऐसा करने के इच्छुक न हों तो कम से कम यूक्रेन को लड़ाकू विमान ही उपलब्ध करा दें।
जेलेंस्की ने रूस को बताया ‘वायरस’
इससे पहले अज्ञात स्थान से दो वीडियो संदेश जारी कर जेलेंस्की ने कहा कि यूक्रेन के पास अपनी आजादी के अलावा खोने के लिए कुछ नहीं है। दो साल पहले यूक्रेन में कोविड का पहला केस दर्ज हुआ था और अब एक हफ्ते पहले एक और वायरस ने हमला किया है। उनका इशारा रूसी आक्रमण की ओर था। उन्होंने कहा कि उनके देश की रक्षा पंक्ति रूसी हमलों का डटकर सामना कर रही है। रूस की बदलती रणनीतियों और शहरों में नागरिक आबादी पर गोलाबारी से साबित होता है कि जमीनी हमले के जरिये तत्काल जीत हासिल करने के दावे वाली मास्को की शुरुआती योजना का यूक्रेन प्रतिरोध करने में सफल रहा है। यूक्रेन ऐसा देश है जिसने दुश्मन की योजना को एक हफ्ते में ही तोड़कर रख दिया है। हर अतिक्रमणकारी को पता होना चाहिए कि उन्हें यूक्रेनियों के भयंकर प्रतिरोध का सामना करना पड़ेगा। उन्होंने अपने नागरिकों से अनुरोध किया कि रूसी सेना का डटकर सामना करते रहें। उन्होंने कहा कि 16 हजार विदेशी भी स्वेच्छा से यूक्रेन के लिए लड़ रहे हैं।
भावुक हो गए जेलेंस्की
जेलेंस्की ने कहा कि यूक्रेन में बंदी बनाए गए रूसी सैनिकों को पता ही नहीं है कि वे यहां क्यों हैं। वे वापस रूस भाग रहे हैं। उन्होंने रूसी सैनिकों को ‘भ्रमित बच्चे’ बताते हुए कहा कि उन्हें रूस के उनके नेता इस्तेमाल कर रहे हैं। राष्ट्रपति ने रूस से क्षतिपूर्ति शब्द का अध्ययन करने को भी कहा क्योंकि कीव मास्को से उसके आक्रमण से हुई क्षति के मुआवजे की मांग करेगा। अपने भावुक भाषण में जेलेंस्की ने कहा कि यूक्रेनियों ने दो विश्व युद्धों, होलोडोमोर के अकाल, बड़े पैमाने पर विनाश, सोवियत आतंक, चेर्नोबिल परमाणु विस्फोट, क्रीमिया के रूस में विलय और पूर्व में विद्रोहियों को उसके समर्थन का सामना किया है। उन्होंने कहा, ‘हमारे पास सबसे बड़ा भूभाग नहीं है.. हमारे पास परमाणु हथियार नहीं हैं, हम अंतरराष्ट्रीय बाजार को तेल और गैस भी उपलब्ध नहीं कराते। लेकिन हमारे पास हमारे लोग हैं। हमारे पास हमारी भूमि है। इसी के लिए हम लड़ रहे हैं।’ रूसी राष्ट्रपति पुतिन को अपने संदेश में जेलेंस्की ने कहा, ‘जाओ अपने रूसी बोलने वालों को बचाओ। दुनियाभर में नहीं, बल्कि अपने देश में। उनमें से कई वहां हैं, करीब 15 करोड़। जहां तक यहां की बात है- यूक्रेन को यश मिले!’
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