हाल ही में पिलाटेस ट्रेनर नम्रता पुरोहित ने अपने स्टूडियो में पिलाटेस रिफॉर्मर पर वर्कआउट करते हुए अभिनेत्री काजोल की एक झलक साझा की. तस्वीरें साझा करते हुए नम्रता ने लिखा, “पता नहीं आपको पता चल रहा है या नहीं… लेकिन हम हमेशा स्प्लिट्स करते रहते हैं.” तस्वीरों में 51 वर्षीय काजोल को रिफॉर्मर स्प्लिट स्क्वैट या स्कूटर वेरिएशन, चलती हुई गाड़ी पर सपोर्टेड लंजेस और स्ट्रैप्स का इस्तेमाल करते हुए स्टैंडिंग आर्म पुल करते देखा जा सकता है.
पिलाटेस रिफॉर्मर स्वास्थ्य के प्रति एक विचारशील दृष्टिकोण प्रस्तुत करता है जो केवल तीव्रता के बजाय नियंत्रण, निरंतरता और शारीरिक जागरूकता को महत्व देता है. रिफॉर्मर पिलाटेस धीमी, सटीक गतिविधियों पर केंद्रित है जो कोर की ताकत बढ़ाती हैं, मुद्रा में सुधार करती हैं और मांसपेशियों की सहनशक्ति को बढ़ाती हैं.
बढ़ती उम्र के लिए बेस्ट एक्टिविटी
पिलाटेस बढ़ती उम्र के लिए बेस्ट एक्टिविटी है. यह मांसपेशियों को मजबूत बनाता है और जोड़ों की रक्षा करता है, कूल्हे और घुटने की स्थिरता में सुधार करता है और संतुलन को बढ़ाता है. ये सभी चीजें बढ़ती उम्र के साथ बेहद महत्वपूर्ण हो जाती हैं.
पिलाटेस की सबसे बड़ी खासियत यह है कि यह सिर्फ फिटनेस ही नहीं, बल्कि लंबी उम्र को भी बढ़ावा देता है. फिटनेस एक्सपर्ट का कहना है कि मजबूत कोर मसल्स से पोस्चर बेहतर होता है और पीठ का दर्द कम होता है, लचीले कूल्हे और पैर रोजमर्रा की गतिविधियों को आसान बनाते हैं, और शरीर के प्रति बेहतर जागरूकता गिरने और चोट लगने के जोखिम को कम करती है. पिलाटेस का ध्यानपूर्ण स्वभाव नर्वस सिस्टम को भी सक्रिय रखता है, जिससे बेहतर तालमेल और चलने-फिरने में आत्मविश्वास बढ़ता है.
संतुलित पोषण भी है महत्वपूर्ण
पिलाटेस आधारित प्रशिक्षण लेते समय पोषण पर भी ध्यान देना बहुत जरूरी है. हल्का, संतुलित भोजन नियंत्रित गतिविधियों के लिए निरंतर ऊर्जा प्रदान करता है, जबकि पर्याप्त मात्रा में पानी पीना और पोषक तत्वों से भरपूर खाद्य पदार्थ रिकवरी और मांसपेशियों के स्वास्थ्य में सहायक होते हैं. प्रशिक्षण के दौरान प्रोटीन आधारित भोजन विशेष रूप से लाभदायक होता है.